प्रयागराज: ''मेरे मम्मी-पापा को जिंदा जला दिया, पुलिस खड़ी होकर तमाशा देखती रही... बेटी का रो-रोकर बुरा हाल

प्रयागराज: ''मेरे मम्मी-पापा को जिंदा जला दिया, पुलिस खड़ी होकर तमाशा देखती रही... बेटी का रो-रोकर बुरा हाल

प्रयागराज, अमृत विचार। मेरे पाप- मम्मी को जिंदा जला दिया। पुलिस खड़ी होकर तमाशा देखती रही। पुलिस ने कुछ नहीं किया। सब पुलिस के सामने हो रहा था और पुलिस अपनी आंखो से पूरी घटना को देख रही थी। सोमवार की रात उस मंजर को अपनी आंखो से देखने के बाद बेटी रो रोकर बता रही थी। प्रयागराज में सोमवार की देर रात हुयी बड़ी घटना जिले को दहला दिया।

मुट्ठीगंज थाना क्षेत्र के सत्तीचौरा मोहल्ले में सोमवार को फंदे से लटकर जान दे दी। घटना की जब रात करीब 11 बजे मायके वालों को मिली तो मायके वाले काफी संख्या में बेटी के ससुराल पहुंच गये। जहां उनके बीच जमकर विवाद शुरु हो गया, जिसके बाद लोगों ने तोड़फोड़ करते हुए घर में आग लगा दी। आगजनी के बाद परिवार के साथ पूरे मोहल्ले में अफरातफरी मच गई। 

पुलिस व फायर ब्रिगेड के टीम ने किसी तरह रेस्क्यू करके घरवालों को बाहर निकाला। आगजनी में दो लोगों की जलकर मौत भी हो गयी। घटना के बाद मौके पर पहुंची पुलिस ने शव को।पोस्टमार्टम।के लिए भेज दिया है। आग किसने लगाई यह साफ नहीं हो सका है, लेकिन मायके वाले ससुराल पक्ष पर और मुहल्ले वाले मायके पक्ष पर आरोप लगाते रहे। वही घटना की जांच की जा रही है।

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जानकारी के मुताबिक मुठ्ठीगंज सत्ती चौरा के रहने वाले राजेंद्र केसरवानी फर्नीचर कारोबारी थे। उनके बेटे अंशु केसरवानी की शादी धूमनगंज के झलवा की वाले वाले सरदारी लाल की बेटी अंशिका से 13 फरवरी 2023 को हुई थी। अंशिका की शादी एक साल पहले ही हुई थी। 

मायके वालों का कहना है कि शादी के बाद से ही उसे प्रताड़ित किया जा रहा था। अंशु चार मंजिला मकान के सबसे ऊपरी तल में रहते हैं। जबकि नीचे फर्नीचर की दुकान खोल रखी हैं। सोमवार की रात अंशिका ससुराल में अपने कमरे के अंदर रस्सी के फंदे से लटक कर खुदकुशी।कर ली। 

काफी देर हक घरवाले और पति अंशु आवाज देता रहा पर अंशिका कमरे से बाहर नहीं आई। अंशु ने जाकर देखा तो आहत आहट नहीं मिली। जिसके बाद खिड़की का शीशा तोड़कर देखा तो पत्नी अंशिका फंदे से झूल रही थी। पति ने शोर मचाया और जानकारी घरवालो के साथ  मायके वालो को देते हुए थाने पहुंच गया। जहां पुलिस के आने से पहले ही मायके पक्ष के काफी लोग ससुराल पहुंच गये। इसी बीच ससुराल और मायके वालों के बीच जमकर मारपीट हुई। 

अंशिका के मायके वाले हत्या का आरोप लगा रहे थे। रात करीब 12 बजे के बाद हंगामा बाद बढ़ता गया। आरोप है कि मायके वालों की भीड़ ने ससुराल वालों को घर में बंद कर आग लगा दी। अंशु के मकान के नीचे फर्नीचर की दुकान भी है। गेट बंद कर घर फूंके जाने से अफरातफरी मच गई। मुट्ठीगंज समेत कई थानों की फोर्स ने पहुंच गयी।

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वहीं तीन मंजिला मकान में आग ने विकराल रूप धारण कर लिया था, जिसको बुझाने में करीब 15 फायर ब्रिगेड की गाड़ियां लगी मगर जब तक आग पर काबू कर फायर तब तक दो लोगों की जलकर मौत हो चुकी थी। दोनों शव को पुलिस ने कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया। उनका कहना है कि या तो अंशिका को मारकर लटका दिया गया या फिर आजिज आकर उसने आत्महत्या कर ली।

बगल के मकान को भी कराया खाली

पुलिस ने अंशु के बगल के मकान को भी खाली करा दिया। अंशिका के घरवाले घर के सामने ही रोते बिलखते रहे। घर के अंदर सारा सामान जलकर राख हो गया। पतिवार के कई लोग आग मे झुलस गये। जिन्हे इलाज के लिए स्वरूप रानी अस्पताल भेजा गया। 

पुलिस नोच ले गयी डीवीआर

घरवालो ने पुलिस पर आरोप लगाते हुए बताया कि पुलिस आस पास लगे घरवालो को निकाल ले गयी। पुलिस ने कुछ नहीं किया। पुलिस सबूत मिटाने मे लगी हुई है। सीसीटीवी मे सब कुछ देखा जा सकता है कि किन लोगों ने घर मे आग लगाई है। किसने घटना को अंजाम दिया है। 

शाम को गये थे डॉक्टर के यहां, लौटने के बाद क्या हो गया

बेटी ने बताया कि भैया अंशु और भाभी शाम को डॉक्टर के पास रिपोर्ट लेने गये थे। वहा से लौटते वक्त आइसक्रीम लेकर आये थे। सभी लोग खाये और रात मे खाना खाने के लिए बुलाया तो कोई आवाज नहक आई। सुबह सभी ने मिलकर घर मे पापड़ और चिप्स भी बनाया था। रात सब कैसे क्या हो गया किसी को कुछ नहीं पता। 

बगल के घर मे कूद कर बचाई जान

बेटी ने बताया कि जब भाई के ससुराल वाले तीन चार पहिया गाड़ी से आये तो सीधे घर मे घुसने लगे। बगल वाले घर से कूदकर घर के अंदर आ गये और ऊपर से नीचे उतरते गये और डीजल छिड़कते गये। आग लगाने के बाद दरवाजर को बंद करते गये। जिसके बाद सभी लोग कमरे मे फंसे रह गये। बाहर जाने के बाद शटर को बंद कर दिया और बाहर से भी गमाग लगा दी। किसी तरह से बगल वाले घर मे कूदकर जान बचाई गयी। 

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मृतका अंशिका की फाइल फोटो
 
फोन पर बात करने से रोकता था पति

घरवालों ने बताया कि अंशिका किसी से फोन पर बात करती थी। जिसको।लेकर पति अंशु अक्सर मना करता था। जिसको लेकर कई बार कहासुनी भी हुई थी। घरवालो ने भी कई बार मना किया था। लेकिन अंशिका बात नहीं मानती थी।

वहीं मुट्ठीगंज थाने के प्रभारी सुनील बाजपेयी ने बताया कि मकान में आग लगने से झुलसे लोगों में मृतक राजेंद्र केसरवानी के छोटे भाई की पत्नी लवली केसरवानी और राजेंद्र केसरवानी की बेटी शिवानी केसरवानी शामिल हैं जिनका इलाज एसआरएन में चल रहा है। वहीं, अंशिका के पति अंशु केसरवानी को मामूली चोट आई है।

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