मुंबई हमले संबंधी जावेद अख्तर की टिप्पणी पर अली जफर बोले, असंवेदनशील टिप्पणियां पहुंचा सकती हैं गहरी चोट 

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Published By Om Parkash chaubey
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लाहौर। भारतीय संगीतकार जावेद अख्तर की मुंबई हमले संबंधी टिप्पणी पर गायक एवं अभिनेता अली जफर ने कहा कि असंवेदनशील टिप्पणियां लोगों की भावनाओं को गहरी चोट पहुंचा सकती हैं। भारतीय संगीतकार जावेद अख्तर के सम्मान में एक कार्यक्रम में प्रस्तुति देने पर अलोचनाओं से घिरे जफर ने कहा कि पाकिस्तान लगातार आतंकवाद से जूझ रहा है।

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पाकिस्तान में मुंबई हमले (26/11) पर अपने बयान के कारण जावेद अख्तर पिछले हफ्ते सुर्खियों में रहे। मशहूर उर्दू शायर फैज अहमद फैज की याद में आयोजित एक समारोह में भाग लेने पिछले हफ्ते पाकिस्तान पहुंचे अख्तर ने कहा था कि जब भारतीय वर्ष 2008 के आतंकी हमले की बात करते हैं तो पाकिस्तानियों को नाराज नहीं होना चाहिए।

अख्तर ने उस सभा में भी भाग लिया जहां जफर ने उनके द्वारा लिखे गये गये कुछ गीतों पर प्रस्तुति दी। जफर ने बृहस्पतिवार की सुबह एक इंस्टाग्राम पोस्ट पर अख्तर का नाम लिये बगैर कहा, ‘‘ मुझे पाकिस्तानी होने पर गर्व है और स्वाभाविक रूप से कोई पाकिस्तानी अपने देश या लोगों के खिलाफ किसी बयान की तारीफ नहीं करेगा खासकर तब जब यह बयान ऐसे कार्यक्रम में दिया गया हो जिसका मकसद दिलों को पास लाना था।’’

उन्होंने कहा कि हम सभी जानते हैं कि पाकिस्तान ने आतंकवाद के हाथों कितना कुछ सहा है और लगातार झेल रहा है, ऐसे में इस तरह की असंवेदनशील और अनावश्यक टिप्पणी से बहुत से लोगों की भावनाओं को ठेस पहुंच सकती है। अपनी प्रस्तुति के कारण आलोचनाओं (जिसके वीडियो सोशल मीडिया मंच पर व्यापक रूप से प्रसारित किए गए) सामना कर रहे जफर ने कहा कि अख्तर ने जो कहा था उससे वह अवगत नहीं थे।

42 वर्षीय गायक ने कहा, ‘‘मैं आप सभी से प्यार करता हूं और किसी निर्णय पर पहुंचने से पहले आपकी तारीफ और अलोचनाओं को असल मायने में समान रूप से अहमियत देता हूं। मैं फैज मेले में उपस्थित नहीं था और अगले दिन तक सोशल मीडिया पर इसे देखने से पहले तक इस बात से अवगत नहीं था कि क्या कहा गया था।’’ फैज समारोह में अख्तर ने दर्शकों के सवाल पर टिप्पणी की थी।

78 वर्षीय अख्तर ने कहा, ‘‘हम मुंबई के लोग हैं। हमने अपने शहर पर हमले को देखा है। हमलावर नार्वे या मिस्र से नहीं आये थे। वे अब भी आपके देश में स्वतंत्र रूप से खुलेआम घूम रहे हैं। इसलिए यदि किसी हिंदुस्तानी के दिल में पीड़ा होती है, तो आपको नाराज नहीं होना चाहिए।’’

अख्तर ने यह भी कहा कि नुसरत फतेह अली खान और मेहदी हसन जैसे पाकिस्तानी कलाकारों का भारत में गर्मजोशी से स्वागत किया गया, लेकिन पाकिस्तान ने लता मंगेशकर का एक भी शो कभी आयोजित नहीं किया। हाफिज सईद की अगुवाई वाले आतंकी संगठन लश्कर-ए-तैयबा के 10 आतंकवादियों ने मुंबई पर 26 नवंबर, 2008 को हमला कर दिया था जिसमें 18 सुरक्षाकर्मियों समेत 166 लोग मारे गए थे।

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