हल्द्वानी: पॉक्सो मामले के बंदी की उपचार के दौरान मौत

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Published By Bhupesh Kanaujia
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हल्द्वानी, अमृत विचार। हल्द्वानी उप कारागार में पॉक्सो एक्ट के मामले के बंदी की मौत हो गई। उसका उपचार डॉ. सुशीला तिवारी राजकीय अस्पताल (एसटीएच) में चल रहा था। प्रशासनिक अधिकारियों की मौजूदगी में शव का पोस्टमार्टम कराया गया। बंदी को टीबी और फेफड़ों में संक्रमण की बीमारी थी।

काठगोदाम थाना क्षेत्र के गौलापार निवासी 41 वर्षीय व्यक्ति के ऊपर अपनी ही नाबालिग बेटी से दुष्कर्म करने का आरोप था। मामला दर्ज होने के बाद पुलिस ने उसे कोर्ट के आदेश पर जनवरी 2023 में जेल भेज दिया। वर्तमान में उसका मामला पॉक्सो कोर्ट हल्द्वानी में विचाराधीन था।

जेल अधीक्षक प्रमोद पांडे ने बताया कि बंदी को टीबी, फेफड़ों में संक्रमण और गले में गांठ की बीमारी थी। पूर्व में वह नशे का भी आदी था। बंदी पहले से ही आपराधिक किस्म का व्यक्ति था। तीन साल पहले ही वह हत्या के मामले में 12 साल की सजा काटकर जेल से रिहा हुआ था। पॉक्सो मामले में जेल जाने से पहले ही उसका लंबे समय से इलाज चल रहा था।

अप्रैल माह में उसकी तबीयत काफी बिगड़ गई। उसे कई बार उपचार के लिए अस्पताल भेजना पड़ा। इस बार भी उसे उपचार के लिए एसटीएच में भर्ती कराया था। गुरुवार को उसकी उपचार के दौरान मौत हो गई। मृतक का पोस्टमार्टम सिटी मजिस्ट्रेट और तहसीलदार की उपस्थिति में करवाया गया। पोस्टमार्टम के बाद शव परिजनों को सौंप दिया गया।

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