RCB Rampage : आईपीएस के निलंबन पर हाईकोर्ट ने उठाए सवाल

Amrit Vichar Network
Published By Vinay Shukla
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कर्नाटक, अमृत विचार : कर्नाटक हाईकोर्ट ने बेंगलुरु के एम चिन्नास्वामी स्टेडियम के पास हुई भगदड़ के मामले में आईपीएस अधिकारी विकास कुमार के निलंबन पर सवाल उठाए हैं। इस भगदड़ में 11 लोगों की जान चली गई थी और कई अन्य घायल हो गए थे।

सरकार के रुख में विरोधाभास : वरिष्ठ अधिवक्ता ध्यान चिन्नप्पा ने अदालत में तर्क दिया कि राज्य सरकार का निलंबन आदेश साक्ष्य या प्रक्रियागत प्रक्रिया पर आधारित नहीं था, बल्कि एक आवेगपूर्ण प्रतिक्रिया थी। उन्होंने कहा कि सरकार का रुख विसंगतियों से भरा है और निलंबन आदेश असंगत और मनमाने प्रतीत होते हैं।

पुलिस अधिकारी कार्यक्रम आयोजकों के अधीनस्थ नहीं : अधिवक्ता चिन्नप्पा ने यह भी तर्क दिया कि पुलिस अधिकारी कार्यक्रम आयोजकों के अधीनस्थ नहीं थे और पुलिस के अधिकार और स्वायत्तता को खोखला करने वाला दावा करना मुश्किल है। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार की ओर से ही इस तरह के दावे को स्वीकार करना मुश्किल है।

अगली कार्रवाई : न्यायमूर्ति एसजी पंडित की अध्यक्षता वाली उच्च न्यायालय की पीठ ने मामले की अगली सुनवाई 21 जुलाई को निर्धारित की है। केंद्रीय प्रशासनिक न्यायाधिकरण (कैट) ने पहले विकास कुमार के निलंबन को रद्द कर दिया था और अन्य चार अधिकारियों के लिए भी इसी तरह की राहत की सिफारिश की थी।

क्या है मामला? : गौरतलब है कि चार जून को बेंगलुरु के एम चिन्नास्वामी स्टेडियम के पास एक भगदड़ हुई थी, जिसमें 11 लोगों की जान चली गई थी और कई अन्य घायल हो गए थे। इसके बाद राज्य सरकार ने भीड़ नियंत्रण में कथित चूक का हवाला देते हुए विकास कुमार सहित पांच पुलिस अधिकारियों को निलंबित कर दिया था। 

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