रेरा ने की लोगों से अपील : आईआरपी के माध्यम से दाखिल करें दावे, कॉरपोरेट दिवाला समाधान प्रक्रिया में 129 प्रोजेक्ट
सबसे अधिक अंसल प्रॉपर्टीज के 97 प्रोजेक्ट शामिल
लखनऊ, अमृत विचार : जनवरी 2024 से अब तक 14 रियल एस्टेट कंपनियों के कुल 129 प्रोजेक्ट राष्ट्रीय कंपनी विधि न्यायाधिकरण (एनसीएलटी) द्वारा कॉरपोरेट दिवाला समाधान प्रक्रिया (सीआईआरपी) में स्वीकार किए गए हैं। इनमें सबसे अधिक 97 प्रोजेक्ट अंसल प्रॉपर्टीज एंड इंफ्रास्ट्रक्चर के हैं। सभी प्रोजेक्ट की सूची रेरा की वेबसाइट पर उपलब्ध है।
दिवाला प्रक्रिया शुरू होने के साथ ही यह प्रोजेक्ट अब एनसीएलटी के विशेष अधिकार क्षेत्र में हैं। इन प्रोजेक्ट में फंसे घर खरीदारों को उप्र रियल एस्टेट विनियामक प्राधिकरण (रेरा) ने फौरन अपने दावे संबंधित इन्सॉल्वेंसी रेजॉल्यूशन प्रोफेशनल्स (आईआरपी) के माध्यम से जल्द दाखिल करने की अपील की है। एनसीएलटी ने प्रत्येक प्रोजेक्ट के लिए आईआरपी नियुक्त किया है। इनके माध्यम से खरीदार अपना दावा निर्धारित प्रपत्र जमा करके दाखिल करें। रेरा ने यह भी स्पष्ट किया कि किसी भी प्रोजेक्ट के सीआईआरपी में प्रवेश करते ही दिवाला एवं शोधन अक्षमता संहिता की धारा 14 के तहत मोरटोरियम लागू हो जाता है। मोरटोरियम के दौरान सभी कानूनी, नियामकीय और रिकवरी से जुड़ी कार्यवाही स्थगित हो जाती हैं। रेरा किसी शिकायत, सुनवाई या प्रवर्तन आदेश को आगे नहीं बढ़ा सकता और खरीदारों के सभी अधिकार व शिकायतें आईआरपी के सामने रखी जाती हैं।
दिवालिया में इन कंपनियों के प्रमुख प्रोजेक्ट
कॉरपोरेट दिवाला समाधान प्रक्रिया यानी सीआईआरपी में प्रमुख 14 रियल एस्टेट कंपनियों में अंसल प्रॉपर्टीज एंड इंफ्रास्ट्रक्चर के 97 प्रोजेक्ट हैं। सभी प्रोजेक्ट की निगरानी आईपीआर नवनीत गुप्ता द्वारा की जा रही है। इसके अलावा अजनारा रियलटेक के पांच प्रोजेक्ट, सुपरटेक टाउनशिप के चार प्रोजेक्ट, किंडल इन्फ्राहाइट्स का एक प्रोजेक्ट, बीसीसी इंफ्रास्ट्रक्चर के तीन प्रोजेक्ट, मॉर्फियस प्रो डेवलपर्स का एक प्रोजेक्ट, मिस्ट डायरेक्ट सेल्स के तीन प्रोजेक्ट, रुद्र बिल्डवेल कंस्ट्रक्शन का एक प्रोजेक्ट, एटीएस हाईट्स का एक प्रोजेक्ट, नोबिलिटी एस्टेट के दो प्रोजेक्ट, वर्धमान इंफ्राडेवलपर्स एक प्रोजेक्ट, निखिल होम्स का एक प्राेजेक्ट, महागुन इंडिया के पांच प्रोजेक्ट व सुपरटेक रियलटर्स के चार प्रोजेक्ट शामिल हैं।
