Hapur lathi charge: अधिवक्ताओं की सीएम से मांग, दोषी पुलिसकर्मियों की हो बर्खास्तगी
प्रतापगढ़, अमृत विचार। हापुड़ में धरना प्रदर्शन के दौरान अधिवक्ताओं पर लाठीचार्ज से यहां के वकील भी आक्राेशित हैं। एकजुटता दिखाते हुए अधिवक्ता बुधवार को हड़ताल पर रहे और जमकर नारेबाजी की।
जूनियर बार एसोसिएशन पुरातन के निवर्तमान पदाधिकारियों के नेतृत्व में लाठीचार्ज की निंदा की गई। निवर्तमान जूनियर बार पदाधिकारियों शिव प्रकाश मिश्र, राघवेंद्र सिंह, जितेंद्र सैनी, शिवा पांडेय,हरीश शुक्ल आदि ने प्रदर्शन किया। सीएम को ज्ञापन भेजकर लाठीचार्ज में चोटिल वकीलों को सरकार द्वारा और लाठीचार्ज में शामिल पुलिस अधिकारियों, कर्मचारियों के वेतन से कटौती करते हुए 10-10 लाख मुआवजा दिलाया जाए, दोषी पुलिस कर्मियों को तत्काल बर्खास्त किया जाए, उन पर केस दर्ज हो, घटना की न्यायिक जांच हो। अधिवक्ता संरक्षण विधेयक लागू कराया जाए, ऐसी घटनाओं का सरकार द्वारा स्वत: संज्ञान लिया जाए, अधिवक्ताओं को शस्त्र लाइसेंस मिले।
आल इंडिया रूरल बार एसोसिएशन के प्रदेश अध्यक्ष मुक्कू ओझा एवं जिलाध्यक्ष अंजनी सिंह बाबा के नेतृत्व में घटना की निंदा की गई। दोषियों व हापुड़ पुलिस-प्रशासन मुर्दाबाद के नारे लगाए गए। वहां के एसपी व सीओ समेत दोषी पुलिस कर्मियों को सेवा से बाहर करने की मांग की गई। लालगंज प्रतिनिधि के अनुसार हापुड़ कांड पर संयुक्त अधिवक्ता संघ अध्यक्ष अनिल तिवारी महेश की अगुवाई में अधिवक्ता नारेबाजी करने लगे। न्यायिक कामकाज का बहिष्कार करके तहसील परिसर से बाहर निकल आए और प्रतापगढ़- रायबरेली हाईवे पर विरोध प्रदर्शन किया। एसडीएम लालधर सिंह यादव को राज्यपाल को संबोधित ज्ञापन सौंपा।
रूरल बार के राष्ट्रीय अध्यक्ष ज्ञान प्रकाश शुक्ल ने सरकार से हाईकोर्ट के जजों की एक न्यायिक जांच कमेटी बनाने की भी मांग की। संचालन महामंत्री धीरेंद्र शुक्ल, संयोजन उपाध्यक्ष लाल विनोद सिंह ने किया। दीवानी परिसर में भी वरिष्ठ उपाध्यक्ष शैलेंद्र चतुर्वेदी की अगुवाई में वकीलों ने विरोध प्रदर्शन किया। पूर्व अध्यक्ष देवी प्रसाद मिश्र, प्रवीण यादव, दीपेंद्र तिवारी, सिंटू मिश्र, घनश्याम मिश्र, राजेश दुबे, अजय शुक्ल गुडडू आदि मौजूद रहे।
ये भी पढ़ें -हापुड़ में वकीलों पर लाठीचार्ज की होगी जांच, CM योगी ने दिए कमेटी गठन के निर्देश
