Loksabha election 2024: हो जाइये अलर्ट, सोशल मीडिया पर एक गलत पोस्ट पहुंचा सकती है जेल

गोंडा जिला निर्वाचन कार्यालय हुआ सख्त, अब तक दो यूजर्स के खिलाफ की जा चुकी है कार्रवाई 

Loksabha election 2024: हो जाइये अलर्ट, सोशल मीडिया पर एक गलत पोस्ट पहुंचा सकती है जेल

गोंडा, अमृत विचार। लोकसभा चुनाव- 2024 के दृष्टिगत चुनाव आचार संहिता लागू है। ऐसे में अगर आप सोशल मीडिया पर कोई पोस्ट कर रहे हैं तो सतर्क हो जाएं। आपका एक गलत पोस्ट आपको जेल भी पहुंचा सकता है। जनपद में पहले ही इस तरह के दो मामलों में जिला निर्वाचन कार्यालय के स्तर पर एफआईआर दर्ज कराई जा चुकी है। अब इनको लेकर जिला निर्वाचन कार्यालय और भी सतर्क हो चला है। जिलाधिकारी/जिला निर्वाचन अधिकारी नेहा शर्मा के आदेश पर मीडिया प्रमाणन एवं निगरानी समिति (एमसीएमसी) को सक्रिय कर दिया गया है। समिति में कुछ सोशल मीडिया एक्सपर्ट्स को भी शामिल किया गया है। जो, 24 घंटे सोशल मीडिया अकाउंट्स पर जारी हो रही पोस्ट पर नजर रख रहे हैं। हर फोटो, वीडियो पर परीक्षण किया जा रहा है। जिलाधिकारी ने खुद मंगलवार को मीडिया प्रमाणन एवं निगरानी समिति (एमसीएमसी) ऑफिस का निरीक्षण किया और जिम्मेदारों को इस संबंध में स्पष्ट दिशा निर्देश दिए। स्पष्ट किया कि इसमें किसी भी प्रकार की लापरवाही स्वीकार्य नहीं की जाएगी। इसीलिए, एमसीएमसी के सदस्यों के लिए बुधवार को एक प्रशिक्षण कार्यक्रम भी कराया जाएगा। उन्होंने कहा कि निष्पक्ष, पारदर्शी एवं सहभागितापूर्ण वातावरण में लोकसभा आम निर्वाचन, 2024 सम्पन्न कराने के लिए जिला प्रशासन प्रतिबद्ध है। 

जनपद में दो प्रकरणों में की गई है कार्रवाई 
बीते 8 अप्रैल को एमसीएमसी समिति द्वारा फेसबुक पर एक जाति विशेष को लेकर की गई टिप्पणी पर सख्त कार्रवाई की गयी है। जिला निर्वाचन अधिकारी के आदेश पर प्रभारी अधिकारी एमसीएमसी के द्वारा नगर कोतवाली गोण्डा के प्रभारी निरीक्षक को पत्र भेजकर “महेंद्र सिंह राणा” नाम के एक  फ़ेसबुक यूजर के खिलाफ सुसंगत धाराओं में मुकदमा दर्ज कर कानूनी कार्रवाई करने को गया है।  गत 19 मार्च को जनपद में जनपद में आदर्श चुनाव आचार संहिता के उल्लंघन का पहला मामला प्रकाश में आया था। कर्नलगंज थाना क्षेत्र के भलियनपुरवा निवासी बूलाल वर्मा पुत्र स्व बच्चूलाल वर्मा (61 वर्ष) द्वारा सोशल मीडिया पर एक जातिगत पोस्ट जारी की गई थी। इससे आम जन मानस में हिंसा व जातिगत विद्वेश फैलने से की प्रबल संभावना थी। इस प्रकरण में स्थानीय थाना की पुलिस द्वारा त्वरित कार्रवाई करते हुए शान्ति व्यवस्था के दृष्टिगत बाबूलाल को हिसासत में लिया था।
 
इनका रखें ध्यान-
- भारत निर्वाचन आयोग द्वारा जारी दिशा निर्देशों में साफ तौर पर कहा गया है कि सोशल मीडिया मसलन ट्विटर, फेसबुक, यू-ट्यूब विकिपीडिया और एप्स पर कोई भी विज्ञापन या एप्लीकेशन देने से पहले इसका प्रमाणीकरण कराकर अनुमति ली जाए। 
- प्रत्याशी द्वारा मीडिया के विभिन्न प्लेटफॉर्म पर प्रचार प्रसार किए जाने वाले सामग्री को आचार संहिता के मानकों के अनुसार एमसीएमसी द्वारा प्रकाशन के पूर्व जांच एवं प्रमाणीकरण किया जाएगा। 
- कोई भी ऐसा पोस्ट न करें जिससे चुनाव प्रक्रिया प्रभावित होती या प्रभावित होने की संभावनाएं हो।

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