इतने घंटे से ज्यादा किया हेडफोन-इयरफोन का इस्तेमाल, तो हो जाएं सावधान, सरकार ने दी वार्निंग
लखनऊ, अमृत विचार। मोबाइल का ब्लूटूथ, इयरप्लग, हेडफोन आदि का लगातार दो घंटे से ज्यादा प्रयोग करने पर सुनने की क्षमता प्रभावित हो सकती है। तेज आवाज में सुनने पर संभावना बढ़ जाती है। अगर, एक बार प्राकृतिक रूप से सुनने की क्षमता खराब हो गयी तो किसी भी श्रवण यंत्र या कोक्लियर इम्प्लांट द्वारा ठीक नहीं हो सकती है। इसलिए जरूरी है कि इयरफोन व हेडफोन का इस्तेमाल सावधानी पूर्वक और जरूरत पर ही किया जाए, इसके लिए परिवार कल्याण विभाग के प्रमुख सचिव पार्थ सारथी सेन शर्मा ने आदेश जारी किया है।
प्रमुख सचिव ने, महानिदेशक परिवार कल्याण नई दिल्ली डॉ. अतुल गोयल के पत्र का संदर्भ लेते हुए आदेश जारी किया है। दिल्ली के पत्र में संदर्भित विषय की जानकारी देते हुए बताया कि व्यक्तिगत ऑडियो उपकरणों के माध्यम से तेज संगीत एवं ध्वनियों के लंबे समय तक सुनने से अपरिवर्तनीय क्षति हो सकती है। साथ ही बार बार टिनिटस की संभावना बढ़ जाती है, इससे मानसिक समस्याएं भी उत्पन्न हो सकती है। इसलिए जरूरी है कि इयरफोन कम आवाज वाले और अच्छे किस्म का प्रयोग किया जाए।
पार्थ सारथी सेन शर्मा ने बताया कि बच्चों को मोबाइल का प्रयोग कम से कम करने दे, स्क्रीन का समय कम करें क्योंकि इससे मास्तिष्क विकास में बाधा आती है। बच्चों को ऑनलाइन गेमिंग से दूर रखे, ताकि तेज आवाजों के संपर्क में न आए, जिनका इस्तेमाल अक्सर गेम मे किया जाता है। आयोजन स्थलों पर अधिकतम औसत ध्वनि स्तर 100 डेसिबल से अधिक न हो। यह आदेश सभी मंडलायुक्त और जिलाधिकारियों को भेजा गया है।
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