27 जून का इतिहास: तीन मूर्ति भवन को नेहरू संग्रहालय बनाने का लिया गया निर्णय

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Published By Muskan Dixit
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नई दिल्ली। इतिहास में 27 जून का विशेष महत्व है। 1964 में इसी दिन यह निर्णय लिया गया था कि दिल्ली में स्थित तीन मूर्ति भवन में भारत के प्रथम प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू का संग्रहालय बनाया जाएगा। उनके निधन के बाद उनकी स्मृति में इसे संग्रहालय में तब्दील कर दिया गया। सीढ़ीनुमा गुलाब उद्यान और एक दूरबीन यहां के प्रमुख आकर्षण हैं। इसी गुलाब उद्यान से नेहरू अपनी शेरवानी पर लगाने के लिए गुलाब का फूल चुना करते थे।

देश और दुनिया के इतिहास में 27 जून की तारीख पर दर्ज अन्य प्रमुख घटनाओं का सिलसिलेवार ब्यौरा इस प्रकार है:-

1693 : लंदन में महिलाओं की पहली पत्रिका ‘लेडीज मरकरी’ का प्रकाशन शुरू।

1838 : राष्ट्रगीत ‘वंदे मातरम’ के रचयिता बंकिम चंद्र चट्टोपाध्याय का जन्म।

1839 : पंजाब के महाराजा रणजीत सिंह का निधन। महाराजा रणजीत एक ऐसे व्यक्ति थे, जिन्होंने न केवल पंजाब को एक सशक्त सूबे के रूप में एकजुट रखा, बल्कि अपने जीते-जी अंग्रेजों को अपने साम्राज्य के पास भी नहीं फटकने दिया।

1940 : सोवियत संघ की सेना ने रोमानिया पर हमला किया।

1957 : ब्रिटेन की मेडिकल रिसर्च काउंसिल की एक रिपोर्ट में बताया गया कि धूम्रपान की वजह से फेफड़ों का कैंसर हो सकता है।

1967 : लंदन के एनफील्ड में विश्व का पहला एटीएम स्थापित किया गया।

1967 : भारत में निर्मित पहले यात्री विमान एचएस 748 को इंडियन एअरलाइंस को सौंपा गया।

1991 : युगोस्लाविया की सेना ने स्लोवेनिया के स्वतंत्र होने के 48 घंटे के भीतर ही इस छोटे से देश पर हमला कर दिया।

2002 : जी-8 देश परमाणु हथियार नष्ट करने की रूसी योजना पर सहमत हुए।

2003 : अमेरिका में समलैंगिकता पर प्रतिबंध रद्द।

2005 : ब्रिटेन ने संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में भारत की वीटो रहित स्थायी सदस्यता का समर्थन किया।

2008 : माइक्रोसॉफ्ट कॉरपोरेशन के चेयरमैन बिल गेट्स ने अपने पद से इस्तीफा दिया।

2008 : भारत और पाकिस्तान ने ईरानी गैस पाइप लाइन परियोजना को शुरू करने में आ रही बाधाओं को दूर किया।

2008 : वर्ष 1971 की लड़ाई में पाकिस्तान के खिलाफ भारत की विजय में महत्वपूर्ण भूमिका निभाने वाले तत्कालीन थल सेनाध्यक्ष फील्ड मार्शल सैम मानेकशॉ का निधन।

2021: जम्मू में वायुसेना के अड्डे पर आतंकवादियों ने ड्रोन के जरिए विस्फोटक गिराए।

2024: बोलीविया की राजधानी ला पाज में सेना के एक शीर्ष जनरल के नेतृत्व में सैनिकों ने राष्ट्रपति भवन पर धावा बोल दिया और फिर तुरंत पीछे हट गए। इस पूरे घटनाक्रम को देश में सैन्य तख्तापलट की नाकाम कोशिश के रूप में देखा गया।

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