नैनीताल: जिलाधिकारी ने दिव्यांगों के मतदाता पहचान पत्र को लेकर जारी किए निर्देश, सुविधा के लिए जारी हुआ वाट्सएप नंबर
नैनीताल, अमृत विचार। जिला निर्वाचन अधिकारी/जिलाधिकारी धीराज सिंह गर्ब्याल के द्वारा जनपद के समस्त उप जिलाधिकारियों व तहसीलदारों को बीएलओ के माध्यम से दिव्यांग मतदाताओं का दिव्यांग का प्रकार मतदाता पहचान पत्र व मतदाता सूची में अंकित किए जाने के निर्देश दिए। नोडल अधिकारी/जिला समाज कल्याण अधिकारी दीपांकर घिल्डियाल ने बताया कि वर्तमान में 5715 …
नैनीताल, अमृत विचार। जिला निर्वाचन अधिकारी/जिलाधिकारी धीराज सिंह गर्ब्याल के द्वारा जनपद के समस्त उप जिलाधिकारियों व तहसीलदारों को बीएलओ के माध्यम से दिव्यांग मतदाताओं का दिव्यांग का प्रकार मतदाता पहचान पत्र व मतदाता सूची में अंकित किए जाने के निर्देश दिए।
नोडल अधिकारी/जिला समाज कल्याण अधिकारी दीपांकर घिल्डियाल ने बताया कि वर्तमान में 5715 दिव्यांगजनों को पेंशन प्रदान की जा रही है जिसके सापेक्ष 4115 दिव्यांगजनों का चिन्हिकरण किया जा चुका है। जनपद में 1600 दिव्यागंजनों का मतदाताओं सूची में चिन्हीकरण किया जाना है। उन्होंने कहा कि वर्तमान में जनपद के समस्त बीएलओ द्वारा अपने क्षेत्रान्तर्गत घर-घर जा कर 18 वर्ष से अधिक के नए मतदाताओं का अंकन कार्य व दिव्यांगता का प्रकार अंकित किये जाने हेतु मतदाता पहचान पत्र का आईडी नंबर व दिव्यांगता का प्रकार प्राप्त किया जा रहा है।
उन्होंने कहा कि बीएलओ के अतिरिक्त समाज कल्याण विभाग द्वारा दिव्यांग मतदाताओं की सुविधा हेतु जिला दिव्यांगजन पुर्नवास केन्द्र, बेस अस्पताल, हल्द्वानी का व्हाट्सएप नंबर 8439391331 जारी किया गया है। घर बैठे दिव्यांगजन या उनके परिजन इस नम्बर पर अपना मतदाता पहचान पत्र व दिव्यांग प्रमाण पत्र व्हाट्सएप भी कर सकते हैं। उन्होंने कहा कि दिव्यांगजनों के मतदाता पहचान पत्र में दिव्यांगता का प्रकार अंकित हो जाने के उपरान्त आगामी चुनावों मे जिला प्रशासन व समाज कल्याण विभाग द्वारा मतदाता को घर से मतदान केन्द्र लाने व घर छोड़ने अथवा पोस्टल वैलेट के माध्यम से मतदाता करने की सुविधा प्रदान की जाएगी।
उन्होंने कहा कि मुख्य चिकित्साधिकारी द्वारा प्रदत्त जनपद के समस्त दिव्यांग प्रमाण पत्रों के आवेदकों का समाज कल्याण विभाग द्वारा निःशुल्क यूडीआईडी कार्ड बनाया जा रहा है। सभी दिव्यांगो को यूनिक दिव्यांगता आईडी यूडीआईडी कार्ड विशिष्ट पहचान दी जायेगी। दिव्यांगों को यूनिक डिसएबिलिटी आईडी (यूडीआईडी) नम्बर मिल जायेगा। इससे दिव्यांगो को प्रमाण पत्र के लिए नही घूमना पडे़गा, यूनिक दिव्यांगता होने से सरकार द्वारा मिल रही सुविधायें और रियायतों का लाभ अपने जनपद व प्रदेश से बाहर भी उठा सकेंगे। उत्तराखण्ड परिवहन की बसो में भी यूडीआईडी कार्ड दिखाकर दिव्यांगजनों को निःशुल्क यात्रा सुविधा का लाभ प्राप्त होगा।
