UP Nagar Nikay 2023 : लगातार तीन बार महिला के सिर सजा जीत का सेहरा, चेयरमैन सीट इस बार अनुसूचित जाति के लिए आरक्षित
UP Nagar Nikay 2023 बांदा में नगर पंचायत नरैनी चेयरमैन सीट इस बार अनुसूचित जाति के लिए आरक्षित।
UP Nagar Nikay 2023 बांदा में नगर पंचायत नरैनी चेयरमैन सीट इस बार अनुसूचित जाति के लिए आरक्षित। वहीं, लगातार तीन बार महिला के सिर पर जीत का सेहरा सजा है।
बांदा, अमृत विचार। UP Nagar Nikay 2023 नगर पंचायत की जनता जनार्दन का विश्वास जीतने में आधी आबादी कामयाब रही है। उसी का नतीजा है कि कांग्रेस से छलांग लगाकर 2017 में भाजपा के टिकट पर चुनाव जीतकर चेयरमैन बनीं। चेयरमैन रहते वर्ष 2022 में विधानसभा के चुनाव में भाजपा ने ओममणि वर्मा पर दांव लगाया और वह चुनाव जीतकर विधानसभा पहुंचीं।
नगर पंचायत नरैनी में लगातार तीन बार से चेयरमैन पद पर आधी आबादी का कब्जा है। पूर्व चेयरमैन राजकुमार बाजपेई के निधन बाद सीट महिला के लिये आरक्षित हुई और उनकी पुत्रवधु सियारानी बाजपेई 2007 में चेयरमैन बनीं। वर्ष 2012 में सीट पिछड़ा वर्ग महिला के खाते में चली गई, जिसमें सुनीता चौरसिया ने विजयीश्री हासिल की। वर्ष 2017 में महिलाओं का पलड़ा फिर भारी रहा।

अनुसूचित जाति महिला के लिये आरक्षित सीट पर कांग्रेस का दामन छोड़ भाजपा में आई की महिला उम्मीदवार ओममणि वर्मा ने बाजी मारी। हालांकि बीते वर्ष हुए विधानसभा चुनाव में वे नरैनी विधानसभा सीट से चुनाव जीतकर विधायक बन गई हैं। रिक्त हुए चेयरमैन पद पर शासन ने ने प्रशासक बैठा दिया। इस बार नगर निकाय चुनाव में नगर पंचायत नरैनी चेयरमैन पद अनुसूचित जाति के लिये आरक्षित किया गया है।
इस बार भी भारतीय जनता पार्टी से एक महिला प्रत्याशी नीलम वर्मा पत्नी दयाराम वर्मा ने अपनी दावेदारी पक्की करते हुए पार्टी से टिकट मांगा है। समाजवादी पार्टी से अभी तक किसी महिला का आवेदन नहीं है। देखना यह है कि राजनीतिक दल इस बार किस पर दांव लगाते हैं।
खुली नालियों में पनप रहे मच्छर
अन्ना जानवर इस नगर पंचायत की प्रमुख समस्या है। यहां के लोग लंबे समय से कान्हा गौशाला की मांग कर रहे हैं। दूसरी समस्या पेयजलापूर्ति की है। यहां जलकल पूर्ति वर्ष 1970 से चालू है। जिससे लगातार सुबह-शाम को कस्बे में जलापूर्ति होती रही है। पिछले दो दशक से जलापूर्ति गड़बड़ाई है। एक ही बार बमुश्किल आधा घंटा ही पानी मिल पा रहा है, जो पर्याप्त नहीं होता। नगर पंचायत में एक बड़ी समस्या खुली नालियां हैं। दूषित जल का ठहराव होने से मच्छर पनप रहे हैं।
