'श्री हनुमान चालीसा' : फिल्मकार चारुवी अग्रवाल की पुस्तक कला और आध्यात्मिकता के बीच की खाई को पाटती है
नई दिल्ली। अंतरराष्ट्रीय स्तर पर ख्याति प्राप्त एनिमेटेड फिल्म 'श्री हनुमान चालीसा' की सफलता के बाद फिल्मकार एवं दृश्य कलाकार चारुवी अग्रवाल अब एक ऐसी किताब लेकर आई हैं जो भव्य चित्रण और चौपाइयों के माध्यम से पाठकों को आध्यात्मिक यात्रा पर ले जाती है।
यह पुस्तक दो संस्करणों में उपलब्ध है, जिसमें दृश्य रूपकों की एक श्रृंखला के साथ छंदों की सुंदरता, दिव्य भक्ति और कलात्मक अभिव्यक्ति का एक सामंजस्यपूर्ण मिश्रण है। इसका प्रकाशन चारुवी डिजाइन लैब की ओर से किया गया है। हनुमान चालीसा की रचना संत तुलसीदास ने 17वीं शताब्दी की शुरुआत में की थी।
चारुवी अग्रवाल ने एक बयान में कहा, 'श्री हनुमान चालीसा' पुस्तक न केवल छंदों की सुंदरता और विविधता को प्रदर्शित करती है बल्कि पाठकों को कलात्मक अभिव्यक्ति और आध्यात्मिक आत्मनिरीक्षण की दुनिया में लेकर जाती है। इसमें कहा गया है, पुस्तक के प्रत्येक पहलू पर बीरीकी से सावधानीपूर्वक ध्यान दिया गया है।
शानदार डिजाइन इस पुस्तक को एक सच्चे संग्रहकर्ता के लिए विशेष बनाते हैं, जो कला के प्रति उत्साही, भक्तों और प्रेरणा चाहने वाले किसी भी व्यक्ति को आकर्षित करता है। गौरतलब है कि 106 पृष्ठों की यह किताब अमेज़न और फ्लिपकार्ट जैसे प्रमुख ई-कॉमर्स मंचों पर खरीदने के लिए उपलब्ध है।
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