लखनऊ: होम्योपैथी,आयुर्वेद और यूनानी दवाएं न मिलने से मरीज परेशान, मिशन निदेशक को लिखा पत्र

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Published By Jagat Mishra
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लखनऊ, अमृत विचार। उत्तर प्रदेश के जिला स्तरीय अस्पतालों में दवाओं की उपलब्धता नहीं होने से आयुष चिकित्सकों और मरीज दोनों को समस्या का सामना करना पड़ रहा है। न डॉक्टर दवा लिख पा रहे हैं और न ही मरीज को दवा मिल पा रही है। जिससे आम जनमानस को भारी समस्या का सामना करना पड़ रहा है।

लोगों को इस समस्या से निजात दिलाने के लिए उत्तर प्रदेश संयुक्त राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन कर्मचारी संघ ने दवाओ की उपलब्धता कराने की मांग की है। उत्तर प्रदेश संयुक्त राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन कर्मचारी संघ के प्रदेश महामंत्री योगेश उपाध्याय ने बताया है कि प्रदेश भर में स्थित सरकारी अस्पतालों की आयुष विंग में आयुष पद्धति की दवाओं की उपलब्धता विगत दो वर्ष से नहीं हो पा रही है।

ऐसे में प्रदेश भर के चिकित्सालयों में आयुष औषधि न होने के कारण वहां कार्यरत संविदा आयुष चिकित्सकों को जनमानस की चिकित्सा करने में कठिनाई हो रही है। इसके बारे में दिसंबर माह में हुई जीआरसी की बैठक में इस विषय को संघ के अध्यक्ष डॉ अनिल गुप्ता द्वारा उठाया गया था, लेकिन अब तक कोई कार्रवाई नहीं हुई। 

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वर्तमान सरकार की महत्वाकांक्षी योजना एवं  जनमानस से जुड़े होने के कारण मरीजों की चिकित्सा सुविधा प्रदान करने में आयुष चिकित्सकों को बड़ी समस्या हो रही है। वही आयुष औषधि न होने के कारण कार्यरत संविदा आयुष चिकित्सकों से उनके मूल कार्य से भी वंचित कर के अन्य कार्य लिया जा रहा है। एनएचएम के आयुष विभाग में पता करने पर मालूम हुआ पहले बजट नहीं था पर अब आ गया 
है। 

ऐसे में NHM निदेशक से मांग की गई है कि इस विषय को गंभीरता से लेते हुए यथाशीघ्र निस्तारण करने का कष्ट करें। जिससे प्रदेश के सभी जनपदों में आयुष औषधि की उपलब्धता सुनिश्चित हो सके और प्रदेश के सभी जनपदों में कार्यरत संविदा आयुष चिकित्सकों द्वारा जनमानस का आयुष चिकित्सा द्वारा उपचार सुचारू रूप से हो सके।

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