Cyber fraud : आईआरडीए कर्मी बन बुजुर्ग को फंसा ट्रांसफर कराई 27.63 लाख की रकम, फिर दूसरे को इस तरह से ठगा
Amrit Vichar, Lucknow : आईआरडीए कर्मी बनकर साइबर जालसाज ने पॉलिसी क्लेम दिलाने के नाम पर बुजुर्ग से 27.63 लाख रुपये ऐंठ लिए। वहीं, गोमतीनगर में रहने वाले बैंककर्मी को पार्ट टाइम जॉब का झांसा देकर जालसाज ने फंसाया। फिर 14.34 लाख रुपये ठग लिए। दोनों पीड़ितों ने साइबर क्राइम पुलिस स्टेशन में रिपोर्ट दर्ज कराई है। इंस्पेक्टर साइबर थाना बृजेश यादव ने बताया कि मामले की जांच की जा रही है।
वृंदावन कॉलोनी स्थित हिमालयन इंक्लेव निवासी 59 वर्षीय विक्रम सिंह यादव ने बताया कि 21 दिसंबर को एक कॉल आई। फोन के पीछे मौजूद शख्स ने अपना परिचय आईआरडीए कर्मी के रूप में दिया। बताया कि आपका जीवन बीमा का भुगतान लंबित है। सिर्फ इसलिए भुगतान नहीं हो रहा है, क्योंकि एजेंट ने अपना 20 प्रतिशत क्लेम कर दिया है। उक्त प्रकरण को खत्म करने के लिए उन्हें पब्लिक रिलेशन अधिकारी बनाया है। इसके बाद जालसाज ने पैन, आधार की फोटो व्हाट्सएप पर मांगी। फिर एजेंट कोड हटाने के एवज में 38,400 रुपये की मांग की। आश्वासन दिया कि उक्त रकम भुगतान में जोड़कर वापस की जाएगी। इसके बाद जालसाज ने एनपीसीआई, सीजीएसटी समेत तमाम मदों के नाम पर 23 दिसंबर से 10 जनवरी के बीच 28 खातों में 27,63,458 रुपये ट्रांसफर करा लिए। डिमांड बढ़ने पर विक्रम को ठगी का एहसास हुआ। पीड़ित ने साइबर पोर्टल पर करने के बाद साइबर थाने में रिपोर्ट दर्ज कराई है।
वहीं, मूल रूप से फर्रुखाबाद निवासी शुभम कुमार विनीत खंड -6 में रहते हैं। वे शहीद पथ स्थित एक्सिस बैंक में कार्यरत हैं। उन्होंने बताया कि कुछ समय पहले एक कॉल आई। फोन के पीछे मौजूद युवती ने पार्ट टाइम जॉब का झांसा दिया। हामी होने पर टेलीग्राम ग्रुप पर एड किया। फिर टास्क कराकर रुपये दिए। इसके बाद जालसाज ने अलग-अलग तरीके से 24 बार में 14,34,296 रुपये ट्रांसफर करा लिए। पीड़ित ने बताया कि ठगी के लिए उनकी यू क्वाइन एप पर आईडी बनवाई गई थी। जिसपर मुनाफा दिख रहा था। पीड़ित ने साइबर क्राइम थाने में रिपोर्ट दर्ज कराई है।
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