कासगंज: गोकशी कर गंगा में फेके गोवंशों के अवशेष, फैला गया आक्रोश

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Published By Pradeep Kumar
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एक सिर और लगभग चार से पांच गोवंश के अवशेष मिलने की हुई पुष्टि

कासगंज, अमृत विचार। गोपाष्टमी पर जहां देश भर में गोवंशों की पूजा हो रही थी, वहीं दूसरी तरफ कासगंज जिले में गोकशी का मामला सामने आया है। सबसे अहम बात यह है कि गोकशी करने के बाद सिर और अन्य अवशेष गंगा नदी में फेंक दिए गए, जिससे लोगों में आक्रोश दिखा। सूचना पर पहुंची पुलिस ने एक सिर और लगभग चार से पांच गोवंश के अवशेष बरामद किए हैं। यहां से सभी का पोस्टमार्टम करा कर उन्हें दफना दिया गया है। इस घटना के बाद खलबली मची हुई है।
 
शनिवार की सुबह गांव अलीपुर बरवारा के पुल के समीप से गुजर रहे लोगों ने पुलिस को सूचना दी कि यहां गंगा में गोवंशों के अवशेष पड़े हुए हैं। गंगा की दोनों धार के बीच खाली टापू पर गोवंश का सिर रखा हुआ था। सूचना मिलते ही सोरों कोतवाली प्रभारी जगदीश कुमार मौके पर पहुंचे। उन्होंने उच्च अधिकारियों को अवगत कराया। सीओ सिटी आंचल चौहान ने मौके पर पहुंचकर घटना स्थल का निरीक्षण किया। यहां उन्होंने सूचना पशु चिकित्सा विभाग के अधिकारियों को दी। चिकित्सकों की टीम भी पहुंच गई। पाया कि एक सिर था और लगभग चार से पांच गोवंश के अवशेष थे। इन सभी को पशु चिकित्सा विभाग की टीम पोस्टमार्टम के लिए ले गई। बाद में दफना दिया गया।

बजरंग दल ने जताया आक्रोश
बजरंग दल के कार्यकर्ताओं को जब इस तरह की जानकारी मिली तो वह आक्रोशित दिखाई दिए। कासगंज में गोकशी के इस मामले को लेकर कार्यकर्ताओं में काफी नाराजगी थी और पुलिस की कार्यप्रणाली पर सवाल उठा रहे थे। बाद में कार्यकर्ताओं ने अज्ञातों के विरुद्ध सोरों कोतवाली पुलिस को तहरीर दे दी है।

कुछ दिन पहले किया था कार्यकर्ताओं पर हमला
बजरंग दल के पदाधिकारियों का आरोप है कि पुलिस को सब कुछ पता था, लेकिन कोई कार्रवाई नहीं की जा रही थी। विभाग संयोजक अमरीश कुमार वशिष्ठ ने बताया कि कुछ दिन पहले की बात है जब बदायूं की ओर से गोकशी कर अवशेष फेकने के लिए तस्कर कासगंज की ओर आ रहे थे तो बजरंग दल के कार्यकर्ताओं ने उन्हें रोकने का प्रयास किया। उस समय तस्करों ने कार्यकर्ताओं पर गाड़ी चढ़ाने का प्रयास किया।

जानिए क्या बोली पुलिस
सीओ सिटी  आंचल चौहान ने बताया कि  एक गोवंश का सिर मिला है और अवशेष अधिक हैं। लगभग 4 से 5 गोवंश के अवशेष रहे होंगे। इन सभी को पशु चिकित्सा विभाग की टीम अपने साथ ले गई और पोस्टमार्टम कराया गया है। उन्हें दफना दिया गया है।

हमें जानकारी मिली तो हम तत्काल अपनी टीम के साथ मौके पर पहुंचे। कार्यकर्ता भी थे। पुलिस की घोर लापरवाही रही है। काफी समय से पुलिस को सूचना दे रहे थे, लेकिन पुलिस कोई कार्रवाई नहीं कर रही थी। अब तहरीर दे दी गई है। -अमरीश वशिष्ठ, विभाग संयोजक बजरंग दल 

गोकशी होना एक बड़ी घटना है।  तस्करी और गोकशी नहीं होनी चाहिए। सरकार गोवंशों के संरक्षण के लिए योजना चला रही है, लेकिन सरकार की मंशा पूरी न हो यह शर्मनाक विषय है। -कौशल साहू, जिला उपाध्यक्ष भाजपा

गांव से शहर तक हुई चर्चा 
गोकशी की जानकारी मिलने पर सोशल मीडिया पर फोटो वायरल होने लगे। उसके बाद क्या था तमाम लोग टिप्पणियां करते हुए इसे एक शर्मनाक घटना बता रहे थे। गांव से शहर तक गोकशी की चर्चा थी। लोग पुलिस की कार्यपाली पर सवाल उठा रहे थे।

अलीगढ़ और बदायूं से आते हैं गोकश
बजरंग दल के कार्यकर्ताओं का कहना था कि अलीगढ़ और बदायूं की ओर से गोकश आते हैं और गोवंशों के अवशेष गंगा नदी के किनारे या गंगा में फेंक जाते हैं। पहले भी तत्कालीन इंस्पेक्टर भोजराज अवस्थी को सूचना दी गई थी। इधर पुलिस अब सक्रिय हो गई है। यह गोकशी किसने की है उनकी तलाश में टीमें जुट गई हैं।

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