‘Financial Situation समेत कई कारणों से Pakistan का दृष्टिकोण नकारात्मक करार’
न्यूयॉर्क। रेटिंग एजेंसी फिच ने समायोजन जोखिम, वित्तपोषण, राजनीतिक जोखिम और घटते भंडार सहित डाउनग्रेड के कई कारणों का हवाला देते हुए पाकिस्तान के दृष्टिकोण को ‘स्थिर’ से ‘नकारात्मक’ में संशोधित किया है। एक रिपोर्ट में, न्यूयॉर्क स्थित एजेंसी - तीन प्रमुख वैश्विक रेटिंग एजेंसियों में से एक - ने पाकिस्तान की दीर्घकालिक विदेशी-मुद्रा (एलटीएफसी) जारीकर्ता डिफॉल्ट रेटिंग (आईडीआर) माइनस बी पर भी पुष्टि की।
फिच ने वर्ष की शुरुआत के बाद से पाकिस्तान की बाहरी स्थिति और वित्तपोषण की स्थिति में ‘महत्वपूर्ण गिरावट’ का उल्लेख किया। रेटिंग एजेंसी ने माना कि अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष (आईएमएफ) के कार्यकारी बोर्ड इस महीने की शुरुआत में पाकिस्तान के साथ कर्मचारी-स्तर के समझौते को मंजूरी देंगे, इसने कार्यान्वयन के लिए ‘काफी जोखिम’ देखा। एजेंसी ने ‘कठिन राजनीतिक और आर्थिक माहौल’ के बीच अगले साल जून में विस्तारित वित्त पोषित सुविधा (ईएफएफ) समर्थित कार्यक्रम की समाप्ति के बाद वित्तपोषण तक पहुंच जारी रखने के जोखिमों को भी देखा।
फिच ने पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान को अप्रैल में अविश्वास मत के जरिए सत्ता से हटाने और जल्द चुनाव कराने की उनकी मांग का भी जिक्र किया। रिपोर्ट में कहा गया,“नई सरकार को संसद में केवल मामूली व कम बहुमत वाली पार्टियों के असमान गठबंधन का समर्थन प्राप्त है। अक्टूबर 2023 में नियमित चुनाव होने हैं, जिससे आईएमएफ कार्यक्रम के समापन के बाद नीतिगत चूक का जोखिम पैदा होता है।”
फिच ने यह भी कहा,“नवीनीकृत राजनीतिक अस्थिरता को बाहर नहीं किया जा सकता है और अधिकारियों के राजकोषीय और बाहरी समायोजन को कमजोर कर सकता है, जैसा कि 2022 और 2018 की शुरुआत में हुआ था, विशेष रूप से धीमी वृद्धि और उच्च मुद्रास्फीति के मौजूदा माहौल में।” फिच की रिपोर्ट के अनुसार, डाउनग्रेड के पीछे एक अन्य कारक विदेशी मुद्रा भंडार पर दबाव है, जो कि इस साल जून तक लगभग 10 अरब डॉलर या मौजूदा बाहरी भुगतान के एक महीने से कुछ अधिक तक गिर गया था, जो इस समय पिछले साल लगभग 16 अरब डॉलर से कम था।
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