मुरादाबाद : लोकसभा चुनाव को प्रत्याशी चयन पर सियासी दलों में मंथन
तैयारी : जिताऊ एवं स्वच्छ छवि के उम्मीदवारों की हो रही तलाश, सपा से सीट छीनने को भाजपा का जोर और सीट बचाने को जुटे समाजवादी पार्टी के रणनीतिकार
मुरादाबाद, अमृत विचार। अगले साल होने वाले लोकसभा चुनाव की डुगडुगी भले ही अभी न बजी हो लेकर राजनीतिक दल प्रत्याशियों के चयन पर नजर टिकाए हैं। जिताऊ और स्वच्छ छवि के उम्मीदवारों पर दांव लगाने की प्राथमिकता सभी की है।
मुरादाबाद लोकसभा सीट पर केवल एक बार जीत हासिल करने वाली भारतीय जनता पार्टी अगले साल होने वाले लोकसभा चुनाव को बड़ी चुनौती मानकर चल रही है। पार्टी प्रदेश की सभी 80 लोकसभा सीटों पर जीत का दम भर रही है। ऐसे में मुरादाबाद व मंडल की सभी सीटें जीतना जरूरी है। भाजपा प्रदेश अध्यक्ष भूपेंद्र सिंह चौधरी के ऊपर सभी 80 लोकसभा सीटों पर जीत का दारोमदार है। लेकिन, अपने गृह जिले मुरादाबाद में लोकसभा सीट जिताना उनके लिए प्रतिष्ठा बनी है। क्योंकि पिछला चुनाव भाजपा यहां से हार चुकी है। यह सीट समाजवादी पार्टी के डॉ. एसटी हसन के पास है।
वहीं समाजवादी पार्टी इस सीट को बरकरार रखने के लिए एड़ी चोटी का जोर लगा रही है। अब तक चार-चार बार कांग्रेस-सपा ने लोकसभा सीट जीती है। 1952 व 1957 में कांग्रेस पार्टी के टिकट पर रामसरन ने जीत दर्ज की थी। भाजपा को केवल 2014 में जीत हासिल हुई है। जब कुंवर सर्वेश सिंह ने पार्टी को जीत दिलाई थी।

नकारात्मक बयानों से नफरत फैला रहे सपा नेता
सपा नेता स्वामी प्रसाद मौर्य द्वारा मां लक्ष्मी और सनातन हिंदू धर्म की आस्था को चोट पहुंचाने वाले बयान पर भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष भूपेंद्र सिंह चौधरी ने मंगलवार को पलटवार किया। उन्होंने लोक निर्माण विभाग के निरीक्षण गृह में मीडियाकर्मियों से बातचीत में कहा कि सपा नेताओं का दोहरा चरित्र है। वह नकारात्मक बयानों से समाज में नफरत फैला रहे हैं।
सोशल मीडिया पर जारी सपा नेता के बयान जिसमें उन्होंने लिखा है कि दुनिया में पैदा होने वाले सभी बच्चे, दो हाथ, दो पैर, दो कान, दो आंख के साथ पैदा होते हैं तो मां लक्ष्मी के 4 हाथ को कैसे सच माना जाए, पर भाजपा प्रदेश अध्यक्ष भूपेंद्र चौधरी ने एक्स पर पोस्ट के बाद कहा कि समाजवादी पार्टी के मुखिया अखिलेश यादव की माता महालक्ष्मी के अपमान पर चुप्पी से साफ है कि सपा नेताओं का दोहरा चरित्र है। एक तरफ सपा के मुखिया मंदिर और देवी देवताओं का दर्शन कर आशीर्वाद ले रहे हैं तो दूसरी ओर उनके नेता स्वामी प्रसाद हिंदू धर्म और उनके देवी देवताओं का अपमान कर रहे हैं। लेकिन, अखिलेश कुछ बोल नहीं रहे हैं।
