एक युद्ध, नशे के विरूद्ध : एमएलसी अंगद सिंह बोले, मुफ्त में नशा कराकर लती बनाते हैं नशेड़ी

Amrit Vichar Network
Published By Vinay Shukla
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Drug-free India campaign: नशामुक्त भारत अभियान के तहत जेबीएस इंस्टीट्यूट ऑफ कॉलेजेज में आयोजित कार्यक्रम में विधान परिषद सदस्य अंगद कुमार सिंह ने युवाओं को नशे से दूर रहने की सलाह दी। एमएलसी ने कहा कि संगत का सीधा प्रभाव युवाओं के कैरियर पर पड़ता है। उन्होंने नशेड़ियों की संगत से दूर रहने की सलाह दी।

उन्होंने एक चिंताजनक तथ्य साझा किया कि देश में पहली शराब की दुकान में मुफ्त में शराब बांटी गई थी। आज स्थिति यह है कि शराब की दुकानों पर भीड़ अपने आप पहुंच जाती है, जबकि दूध विक्रेताओं को घर-घर जाना पड़ता है। नारकोटिक्स सेल के प्रभारी अनूप कुमार शुक्ला ने बताया कि बाराबंकी में ड्रग्स के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जा रही है। एंटी नारकोटिक्स टास्क फोर्स का गठन किया गया है, जिसकी निगरानी आईजी स्तर के अधिकारी कर रहे हैं। जनपद स्तर पर विशेष थाने खोले गए हैं।

कार्यक्रम में हास्य व्यंग्यकार अनिल कुमार श्रीवास्तव ने संचालन किया। गीतकार साहब नारायण शर्मा ने नशामुक्ति पर प्रेरक गीत प्रस्तुत किए। आयोजक संस्था के अध्यक्ष रत्नेश कुमार ने छात्रों से नशीली दवाओं से दूर रहने का संकल्प लेने का आह्वान किया। कार्यक्रम का आयोजन नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ सोशल डिफेंस और बेसिक उत्थान एवं ग्रामीण सेवा संस्थान के सहयोग से किया गया।

सांसद (5)

भुखमरी की कगार पर खरबूजा किसान

लोकसभा क्षेत्र के किसानों के लिए यह साल मुश्किलों भरा साबित हो रहा है। यहां बड़े पैमाने पर की जाने वाली खरबूजे की खेती में इस बार फ्यूजेरियम बिल्ट नामक रोग लग गया है। खरबूजे की खेती करने वाले किसानों के परिवार भुखमरी की कगार पर हैं। स्थानीय सांसद तनुज पुनिया ने इस मामले को गंभीरता से लेते हुए मुख्यमंत्री को पत्र लिखा है। उन्होंने बताया कि इस रोग का कोई इलाज नहीं है।

कृषि वैज्ञानिकों ने भी इस बात की पुष्टि की है। इस वजह से किसानों की पूरी फसल बर्बाद हो गई है। सांसद ने यह पत्र बिजय बहादुर वर्मा के नेतृत्व में एक प्रतिनिधिमंडल से मिलने के बाद लिखा है। प्रतिनिधिमंडल ने उन्हें खरबूजा किसानों की समस्याओं से अवगत कराया था। पुनिया ने मुख्यमंत्री से बर्बाद हुई फसल का व्यापक सर्वे कराने की मांग की है। साथ ही प्रभावित किसानों को मुआवजा देने का भी अनुरोध किया है। फसल की बर्बादी से क्षेत्र के कई किसान परिवार आर्थिक संकट में हैं।

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