Bareilly: मेट्रो ट्रेन डिपो के लिए बड़ा बाईपास पर 20 हेक्टेयर भूमि चिह्नित
राकेश शर्मा, बरेली। मेट्रो ट्रेन की फाइनल डीपीआर तैयार करने की दिशा में डिपो बनाने के लिए भूमि चयनित कर ली गई है। डीपीआर तैयार कर रही राइट्स कंपनी ने पहले आईवीआरआई क्षेत्र में करीब 20 हेक्टेयर भूमि चयनित की थी। मंडलायुक्त भूपेंद्र एस. चौधरी ने केंद्रीय संस्थान को सुरक्षित रखने के लिए ग्रेटर बरेली क्षेत्र में डिपो के लिए भूमि चिह्नित करने के निर्देश दिए। इसके बाद राइट्स ने बीडीए के अधिकारियों के साथ मिलकर नई आवासीय टाउनशिप के पास बड़ा बाईपास पर किसानों की 20 हेक्टेयर भूमि डिपो के लिए चिह्नित की है।
डिपो में आठ मीटर ऊंची बिल्डिंग बनाने के लिए एयरफोर्स से एनओसी मांगी गई है। एनओसी मिलने के बाद डिपो के लिए चयनित भूमि की मिट्टी की टेस्टिंग कराई जाएगी। मिट्टी की टेस्टिंग रिपोर्ट आने के बाद डिपो की डिजायन तैयार होगी। मंडलायुक्त की मंजूरी मिलने के बाद डिपो की डिजाइन डीपीआर में शामिल की जाएगी। इसके बाद मंडलायुक्त की अध्यक्षता में बैठक होगी। इसमें डीपीआर को मंजूरी मिलने के बाद फाइनल डीपीआर शासन को भेजी जाएगी, ताकि शासन डीपीआर का अवलोकन कर एप्रूवल दे सके। फाइनल डीपीआर शासन को भेजे जाने के बाद बरेली शहर में मैट्रो ट्रेन संचालन की उम्मीद शत-प्रतिशत हो जाएगी। मैट्रो ट्रेन संचालन के लिए रूट पहले ही तय हो चुके हैं।
इधर, बरेली विकास प्राधिकरण के चीफ इंजीनियर एपीएन सिंह ने बताया कि मेट्रो ट्रेन के लिए डिपो की 20 हेक्टेयर भूमि बीडीए की पीलीभीत बाईपास रोड से लगी नई आवासीय टाउनशिप के पास बड़ा बाईपास पर चिह्नित कर ली है। फन सिटी के पास मेट्रो ट्रेन का जंक्शन बनेगा। राइट्स कंपनी ने एयरफोर्स से एनओसी के लिए पत्राचार शुरू किया है। दिसंबर तक एनओसी मिलने की उम्मीद है। चीफ इंजीनियर ने बताया कि विकास प्राधिकरण के नए बायलॉज में एयरफोर्स के पास बिल्डिंग बनाने के लिए एनओसी अनिवार्य कर दी गई है। चयनित भूमि एयरफोर्स से करीब ढाई किलोमीटर दूर है, इसलिए एयरफोर्स से एनओसी लेने के लिए पत्राचार किया है।
मेट्रो का करीब 22 किलोमीटर लंबा कॉरिडोर बनेगा
बरेली मेट्रो का करीब छह हजार करोड़ रुपये का प्रोजेक्ट है। 22 किलोमीटर लंबा मेट्रो कॉरिडोर बनाने की योजना है। समय से प्रोजेक्ट पूरा हुआ तो करीब पांच साल के भीतर यानि 2030 तक शहर के दोनों रूटों पर लाइट मेट्रो का संचालन शुरू होगा। वहीं, मेट्रो संचालन के लिए दिल्ली की नेशनल इंजीनियरिंग कंपनी ने पिछले साल अक्टूबर और नवंबर में गांधी उद्यान, डीडीपुरम, चौकी चौराहा, आईवीआरआई, बैरियर, रुहेलखंड विश्वविद्यालय, बीसलपुर चौराहा पर मिट्टी के नमूने लिए थे। करीब सौ फुट गहराई से लिए गए मिट्टी के ये नमूने जांच के लिए गुरुग्राम की लैब में भेजे गए थे। जांच रिपोर्ट में सभी जगह की मिट्टी मेट्रो चलाने लायक पाई गई।
यह है प्रस्तावित मार्ग, जहां से गुजरेगी लाइट मेट्रो
पहला रूट : रेलवे जंक्शन से चौकी चौराहा, गांधी उद्यान, सेटेलाइट बस अड्डा, बीसलपुर चौराहा, तुलसीनगर, रुहेलखंड विश्वविद्यालय, सौ फुटा रोड, फन सिटी तक (12.5 किलोमीटर)।
दूसरा रूट : चौकी चौराहा से पटेल चौक, कुतुबखाना, कोहाड़ापीर, डीडीपुरम, डेलापीर सब्जी मंडी, आईवीआरआई, नार्थ सिटी एक्सटेंशन से फन सिटी तक (9.5 किलोमीटर)
मंडलायुक्त भूपेंद्र एस. चौधरी ने बताया कि मेट्रो ट्रेन की फाइनल डीपीआर बनाने की दिशा में राइट़्स काम कर रही है। मेट्रो का डिपो बनाने के लिए 20 हेक्टेयर भूमि चयनित करने को सर्वे कराया गया है। डिपो के डिजाइन को शामिल करते हुए फाइनल डीपीआर शासन काे भेजी जाएगी।
