राजेन्द्र नाथ लाहिड़ी

मैं मर नहीं रहा बल्कि स्वतंत्र भारत में पुनर्जन्म लेने जा रहा हूं: लाहिणी

गोंडा। ‘मैं मर नहीं रहा बल्कि स्वतंत्र भारत मे पुनर्जन्म लेने जा रहा हूँ।’ यह अंतिम शब्द थे भारत माता के अमर सपूत राजेन्द्र नाथ लाहिड़ी के, जिन्होने वंदे मातरम की हुंकार के साथ फांसी के फंदे को हंसते हंसते...
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