रुद्रपुर: डॉक्टर नहीं बाउंसर कर रहे थे नशा पीड़ितों का इलाज

Amrit Vichar Network
Published By Amrit Vichar
On

रुद्रपुर, अमृत विचार। जिले के नशा मुक्ति केंद्रों पर स्वास्थ्य विभाग ने शिकंजा कसना शुरू कर दिया है। प्रारंभिक जांच में टीम को तीन ही नशामुक्ति केंद्र की जानकारी थी, लेकिन जब जांच आगे बढ़ती गई तो जिले में सीज किए गए केंद्रों के अलावा छह और अपंजीकृत नशा मुक्ति केंद्रों का पता चला। स्वास्थ्य …

रुद्रपुर, अमृत विचार। जिले के नशा मुक्ति केंद्रों पर स्वास्थ्य विभाग ने शिकंजा कसना शुरू कर दिया है। प्रारंभिक जांच में टीम को तीन ही नशामुक्ति केंद्र की जानकारी थी, लेकिन जब जांच आगे बढ़ती गई तो जिले में सीज किए गए केंद्रों के अलावा छह और अपंजीकृत नशा मुक्ति केंद्रों का पता चला।

स्वास्थ्य विभाग ने केंद्रों की सूची तैयार कर कार्रवाई करने की तैयारी शुरू कर दी है। स्वास्थ्य विभाग की जांच में तीन नशामुक्ति केंद्रों के हालत बद से बदतर पाये गए। केंद्रों पर चिकित्सक की जगह बाउंसरों को रखा गया है तो कहीं एक ही कमरे में नशे के पीड़ितों को बंधक बनाकर रखा गया था। जिस पर विभाग ने तीनों को सीज कर दिया था और अब छह केंद्रों पर शिकंजा कसने की तैयारी शुरू कर दी है।

बताते चलें कि जून और जुलाई माह में अलग-अलग नशा मुक्ति केंद्र में भर्ती दो युवकों की मौत हो गई थी। जिसको गंभीरता से लेते हुए डीएम ने नशा मुक्ति केंद्रों पर कार्रवाई करने का आदेश दिया था। एसीएमओ डॉ. तपन कुमार को केंद्रों की जांच सौंपी गई है।

एसीएमओ ने अपनी प्रारंभिक जांच में सितारगंज, पुलभट्टा और खटीमा स्थित नशा मुक्ति केंद्र से की थी तो देखा कि जिन केंद्रों पर चिकित्सकों की मौजूदगी होनी चाहिए थी। उन केंद्रों पर बाहरी इलाकों के बाउंसरों को खड़ा किया गया था। वहीं, खुले हवादार कमरों में पीड़ितों को रखा जाना था। वहीं एक ही कमरे में कई पीड़ित बंधक बने हुए थे।

जिस पर स्वास्थ्य विभाग की टीम ने नौ पीड़ितों का बंधक मुक्त कर प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों में भर्ती कराया गया। इसके अलावा दवा और सुविधाओं का बेहद अभाव दिखा। जिस पर टीम ने क्लीनिकल एक्ट के तहत सीज कर दिए। अभी स्वास्थ्य विभाग की टीम ने जांच धीमी ही की थी कि जिले में सितारगंज, पुलभट्टा, खटीमा के अलावा काशीपुर, जाफरपुर, लालपुर, सितारगंज में दो नशा मुक्ति केंद्र होने का मामला सामने आ गया। स्वास्थ्य विभाग ऐसे केंद्रों को चिन्हित कर उन पर शिकंजा कसने की तैयारी शुरू कर दी है।

ये हैं नशा मुक्ति केंद्र के मानक
रुद्रपुर। क्लीनिकल एक्ट के तहत नशा मुक्ति केंद्र को संचालित करने के लिए कई मानकों का पालन करना पड़ता है। जिसमें हर केंद्र पर एक प्रशिक्षित चिकित्सक, प्रशिक्षित चिकित्सीय कर्मी,खुले व हवादार कमरे,दवाओं की समुचित व्यवस्था,पीड़ितों की लगातार काउंसलिंग के लिए एक-एक काउंसलर,साफ-सफाई के अलावा मनोरंजन के साधन होने जरुरी होता है। साथ ही हालत बिगड़ने पर पीड़ित को अस्पताल ले जाने की व्यवस्था का भी प्रावधान है।

नशा मुक्ति केंद्रों पर पड़ताल के दौरान स्थिति बदतर देखी गई। जिसमें से तीन को सीज कर दिया गया था। बाकी छह केंद्रों की जांच के बाद कार्रवाई की जाएंगी। इसके अलावा अन्य केंद्रों को चिन्हित करने के लिए सीएमओ द्वारा चिकित्सा अधीक्षकों को भी गाइड-लाइन जारी कर दी गई है। मामले सामने के बाद स्वास्थ्य विभाग जांच के बाद कार्रवाई करेगा।
डॉ. तपन कुमार,एसीएमओ

संबंधित समाचार