Kanpur News : 115 स्कूल नहीं दे रहे खाद्य सुरक्षा भत्ते का हिसाब, BSA ने खंड शिक्षा अधिकारियों को पोर्टल भरने के दिये निर्देश

Amrit Vichar Network
Published By Kanpur Digital
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Kanpur News कानपुर में बीएसए ने खंड शिक्षा अधिकारियों को पोर्टल भरने के निर्देश दिये।

Kanpur News कानपुर में बीएसए ने खंड शिक्षा अधिकारियों को पोर्टल भरने के निर्देश दिये। 115 स्कूल खाद्य सुरक्षा भत्ते का हिसाब नहीं दे रहे। वर्ष 2020 से 2021 तक का हिसाब भरना है।

कानपुर, अमृत विचार। Kanpur News कोरोना काल में छात्रों के खाते में जाने वाले खाद्य सुरक्षा भत्ते का उपभोग प्रमाणपत्र बेसिक शिक्षा परिषद की ओर से संचालित स्कूल के प्रधानाध्यापक नहीं दे पा रहे हैं। इसके लिए बीएसए ने 22 अक्तूबर को जिले के सभी 12 खंड शिक्षा अधिकारियों को पत्र लिख प्रमाणपत्र को पोर्टल पर भरने के निर्देश दिए थे।

आज दो महीने से ज्यादा का समय बीएसए को पत्र लिखे हो गया। बावजूद इसके अभी तक 2020-21 सत्र का  22 और 2021-22 सत्र का 93 स्कूल हिसाब नहीं दे पा रहे हैं।

कोरोना काल में सरकार द्वारा स्कूलों को बंद करने के निर्देश दिए गए थे। जिसके बाद सरकार की ओर से बेसिक शिक्षा परिषद के स्कूलों के खाते में खाद्य सुरक्षा भत्ता भेजा था। इसमें प्रधानाध्यापकों की जिम्मेदारी थी कि वह स्कूल में नामांकित छात्रों के खाते में खाने के लिए पैसा भेजेंगे।

जिसका उपभोग प्रमाणपत्र सभी प्रधानाध्यापकों को मानव संपदा पोर्टल पर अपडेट करना था। इसके बाद दो अक्तूबर तक जिले के 378 स्कूलों ने उपभोग प्रमाणपत्र अपलोड नहीं किया था। बता दें बीएसए का पत्र जारी होने के बाद अभी भी 93 स्कूल ऐसे हैं जिन्होंने अभी तक उपभोग प्रमाण पत्र नहीं अपलोड किया है।

प्रधानाध्यापकों ने छात्रों खाते में नहीं भेजा पैसा

कुछ प्रधानाध्यापकों ने अभी तक छात्रों के खाते में पैसा भेजा ही नहीं है। सरकार की ओर से भेजी गई रकम अभी भी उनके खाते में पड़ी है। शहर के एक अनुदानित स्कूल की महिला प्रधानाचार्य आजकल बीएसए कार्यालय के चक्कर काट रही हैं। बताया कि वह अभी स्कूल की प्रधानाध्यापक बनी हैं। कोरोना काल में जो प्रधानाचार्य थी, वह सेवानिवृत्त हो चुकी और उन्होंने किसी छात्र खाते में रकम भेजी ही नहीं। अब वह प्रमाणपत्र कैसे अपलोड कराएं, इसको लेकर परेशान हैं।

सभी स्कूल के प्रधानाध्यापकों को उपभोग प्रमाण पत्र पोर्टल पर अपलोड कराना है। इसके लिएअभी समय दिया जा रहा है। तय समय में प्रमाणपत्र अपलोड नहीं हुआ तो मुकदमा दर्ज कराया जाएगा।- सुरजीत कुमार सिंह, बीएसए

 

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