बागेश्वर: ईओ और अध्यक्ष के बीच का विवाद बना नगर में गंदगी का कारण

बागेश्वर: ईओ और अध्यक्ष के बीच का विवाद बना नगर में गंदगी का कारण

बागेश्वर, अमृत विचार। नगर पालिका की ओर से नगर में सफाई व्यवस्था की निविदा न होने के कारण बागनाथ नगरी शुक्रवार को गंदगी से बजबजाती रही। इससे नगर में तरह तरह की बातें होती रही परंतु इसके पीछे जो बात सामने निकल कर आ रही है वह यह है कि पालिकाध्यक्ष व ईओ के बीच निविदा को लेकर चल रहा आपसी विवाद है।

ईओ ने मीडिया को दिए बयान में कहा कि अध्यक्ष अपने चहेते को नियम विरुद्ध सफाई का काम देना चाहते हैं। नगर पालिका द्वारा नगर में सफाई व्यवस्था के लिए पर्यावरण मित्रों की तैनाती ठेकेदारी प्रथा के तहत की जाती है। शुक्रवार को नगर में पर्यावरण मित्रों की तैनाती न होने व पूर्व के ठेकेदार की समयावधि पूरी होने के कारण शुक्रवार को नगर की सफाई व्यवस्था नहीं हो पाई।

जिससे नगर गंदगी से बजबजाता रहा। पर्यावरण मित्रों का आरोप है कि नगर पालिका द्वारा समय पर निविदा न कराने व इसे लटकाने के कारण शुक्रवार को नगर में कूड़ा नहीं उठा। इधर पालिका के अधिशासी अधिकारी हयात सिंह परिहार से जब इस संबंध में पूछा गया तो उनका कहना है कि एक सप्ताह पूर्व सफाई की निविदा हुई, जिसकी निविदा अध्यक्ष स्वीकृत करवाना चाहते हैं उसकी निविदा हो ही नहीं सकती है।

क्योंकि वह निविदा की शर्तें पूरी नहीं करता है उन्होंने आरोप लगाया कि यहां पर कुछ लोगों की चेन बनी हुई है जो कि नियम विरुद्ध कार्य करना चाहते हैं परंतु अधिशासी अधिकारी होते हुए वे गलत कार्य नहीं होने देंगे। कहा कि इसी के कारण नगर पालिका के कूड़े वाहन खड़े हो गए हैं तथा नगर की सफाई व्यवस्था चरमरा गई है। कहा कि वे किसी भी कीमत में गलत कार्य नहीं करेंगे। इधर ईओ के सार्वजनिक रूप से नगर पालिका अध्यक्ष पर लगाए आरोपों के बाद नगर में राजनीतिक चर्चाएं भी प्रारंभ होने लगी हैं। 

 मुझको सही तरीके से नगर के हित में कार्य करने के लिए तैनात किया गया है। मैं गलत कार्य नहीं होने दूंगा। चाहे तो ये लोग मेरा तबादला करवा दें परंतु किसी भी कीमत में मेरे हाथों से नियम विरुद्ध कार्य नहीं होगा।
- हयात सिंह परिहार, अधिशासी अधिकारी


 आरोप निराधार हैं, नगर हित में मामले को सुलझा दिया गया है। शनिवार से नियमित सफाई व्यवस्था होगी।
- सुरेश खेतवाल, अध्यक्ष, नगर पालिका