नैनीताल: नैनी झील से निकाली जाएंगी खतरनाक कॉमन कार्प और बिग हेड मछलियां

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Published By Shweta Kalakoti
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झीलों की सुरक्षा दीवारों को कुरेद रही कॉमन क्राप मछली

नैनी झील के सुरक्षा दीवारों के लिए खतरनाक साबित हो रही थी कॉमन क्राप

नैनीताल, अमृत विचार। नैनी झील के अस्तित्व के लिए खतरा बन चुकीं बिगहेड और कॉमन क्राप मछलियों को निकालने का काम आज से शुरू किया जाएगा। जानकारी देते हुए झील की संरचना की रखरखाव करने वाली और झील को ऑक्सीजन सप्लाई करने वाली एजेंसी लेक इरीएशन के सुपरवाइजर आनंद सिंह कोरंगा ने बताया नैनीताल में करीब 60 प्रतिशत के आसपास कॉमन कार्प और बिग हेड मछलियां हैं जो नैनी झील के अस्तित्व के खतरनाक है।

इन्हें 1 सितंबर से 11 सितंबर तक निकालने का काम किया जाएगा। जिला विकास प्राधिकरण ने झील से मछलियां निकालने के लिए रुद्रपुर की बायो मैनिपुलेशन को 26 लाख 45 हजार ठेका दिया है जो इस दौरान नैनी झील में एक किलो से अधिक की मात्रा वाली बिग हेड और कॉमन कार्प मछलियों को निकालने का काम करेगी।

बताते चले कि पंतनगर विश्वविद्यालय द्वारा किए गए अध्ययन में पता चला था कि नैनी झील के अस्तित्व के लिए कॉमन क्राप मछलियां बेहद खतरनाक है जिन्हें निकाले जाने की आवश्यकता है। वर्ष 2008 में नैनी झील से खतरनाक प्रजाति की कॉमन क्राप मछलियों को निकालने का काम किया गया था जो कुछ दिन चलने के बाद रुक गया।

वहीं बीते वर्ष तत्कालीन जिलाधिकारी धीरज गर्ब्याल द्वारा नैनी झील के लिए करवाए गए सर्वे के आधार पर झील से खतरनाक कॉमन क्राप मछलियों को निकालने के निर्देश दिए गए थे। पंत विश्वविद्यालय के वैज्ञानिकों की रिपोर्ट में बताया कि झील में कॉमन क्रॉप मछली भोजन की तलाश में नैनी झील की सुरक्षा दीवारों को लगातार खोद रही हैं जिससे झील के किनारे की दीवारों और पहाड़ियों पर भूस्खलन हो रहा है।

जिसके लिए इन मछलियों को झील से निकालना बेहद आवश्यक है। कॉमन कार्प मछली की प्रजाति दूसरी प्रजाति को अपने साथ पनपने भी नही देती जो नैनी झील के लिए चिंता का विषय है। कॉमन कार्प मछली ने कश्मीर डल झील और मणिपुर लोकटक झील को भी को खत्म कर दिया था। कॉमन कॉर्प प्रजाति की वजह से नैनी झील में कार्बन, नाइट्रोजन और फास्फोरस भी बढ़ रहा है। जो कि झील की सेहत के लिए ठीक नहीं।

बताते चलें कि कॉमन कार्प मछली मूल रूप से श्रीलंका में पाई जाने वाली मछली की प्रजाति है जो कई वर्ष पूर्व नैनी झील के पारिस्थितिकी तंत्र को नियंत्रण करने के लिए मत्स्य विभाग द्वारा नैनी झील में डाली गई थी। लेकिन कॉमन कार्प नैनी झील के संरक्षण व संवर्धन के लिए उपयुक्त साबित नहीं हुई। उल्टा झील और शहर के अस्तित्व पर खतरा उत्पन्न होने लगा है। जिसको देखते हुए अब कॉमन कार्प प्रजाति की मछली को झील से निकला जा रहा हैं।