गोंडा: साइबर सेल ने पीड़ित को वापस करायी 44726 रुपये की धनराशि

लिंक पर क्रेडिट कार्ड नम्बर व ओटीपी शेयर करने के बाद साइबर ठगों ने खाते से उड़ाई थी रकम

गोंडा: साइबर सेल ने पीड़ित को वापस करायी 44726 रुपये की धनराशि

गोंडा, अमृत विचार। कस्टमर केयर कॉल पर भरोसा कर उसके भेजे लिंक पर अपने क्रेडिट कार्ड का नंबर व ओटीपी शेयर करने की गलती ने एक युवक के बैंक अकाउंट को खाली कर दिया। साइबर जालसाजों ने युवक के बैंक खाते से 44726 रुपये उड़ा लिए। खाते से धनराशि कटने की जानकारी हुई तो पीडित के होश उड़ गए।

तत्काल उसने नगर कोतवाली पुलिस और साइबर हेल्प डेस्क से संपर्क किया तो साइबर डेस्क ने तत्परता दिखाते हुए उज़ाई गयी धनराशि को होल्ड कराकर उसे पीडित के खाते में वापस कराया। धनराशि वापस मिलने पर पीड़ित के चेहरे की मुस्कान भी लौट‌ आई और उसने पुलिस का आभार जताया। 

नगर कोतवाली क्षेत्र के परसनपुरवा के रहने वाले संजय तिवारी के मुताबिक उनके मोबाइल नंबर पर कस्टमर केयर नाम से एक कॉल आई थी। कॉल करने वाले ने खुद को बैंक का अधिकारी बताते हुए संजय से उनके क्रेडिट कार्ड का नंबर और मोबाइल पर भेजी गयी ओटीपी मांगी। 

संजय ने कस्टमर केयर की कॉल पर भरोसा कर फोन करने वाले जालसाज को अपना क्रेडिट कार्ड नंबर व ओटीपी शेयर कर दिया। इसके बाद उनके बैंक खाते से 44726 रुपये निकल गए। रुपये निकलने की जानकारी हुई तो संजय को ठगी का एहसास हुआ। वह फौरन भागकर नगर कोतवाली पहुंचे और पूरी घटना बतायी।

कोतवाली पुलिस ने साइबर हेल्प डेस्क से संपर्क कर मामले की जानकारी दी। साइबर हेल्प डेस्क ने तत्परता दिखाते हुए सम्बंधित बैंक/इंटीमेडरी से संपर्क स्थापित कर उड़ाई गयी धनराशि को होल्ड कराया और फिर उसे पीड़ित के खाते में वापस कराया। अपने रुपये वापस पाकर संजय के चेहरे की मायूसी मुस्कान में बदल गयी और उसने गोंडा पुलिस का आभार जताया। साइबर हेल्प डेस्क टीम में नोडल अधिकारी उप निरीक्षक उदित कुमार वर्मा, साइबर पोर्टल संचालक कांस्टेबल पंकज कुमार व  महिला सिपाही शिवानी तिवारी शामिल रहीं। 

किसी भी अंजान फोन कॉल पर न शेयर करें अपनी व्यक्तिगत जानकारी 

एसपी विनीत जायसवाल ने कहा कि  साइबर ठगों से सावधान रहने की जरुरत है। किसी भी अनजान फोन कॉल पर अपनी बैंक डिटेल, ओटीपी, बायोमैट्रिक डेटा, पैन कार्ड व आधार कार्ड की डिटेल साझा करने से बचना चाहिए। फ्रॉड ट्रांजेक्शन होने पर तत्काल अपने बैंक एवं थाने पर गठित साइबर सेल को सूचना दें तथा साइबर हेल्पलाइन 1930 या डायल-112 पर भी शिकायत दर्ज कराएं।

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