कानपुर के चर्चित बिकरू कांड में विकास दूबे के करीबी को मिली जमानत, कोर्ट ने कहा ये...

कानपुर, अमृत विचार। इलाहाबाद हाईकोर्ट ने कानपुर के कुख्यात अपराधी विकास दूबे के करीबी को सशर्त जमानत देते हुए ट्रायल कोर्ट को याची के खिलाफ चल रहे मुकदमे को लगभग एक साल में निस्तारित करने का निर्देश दिया। उक्त आदेश न्यायमूर्ति सिद्धार्थ की एकलपीठ ने शिव तिवारी उर्फ आशुतोष त्रिपाठी की दूसरी जमानत याचिका स्वीकार करते हुए पारित किया। याची के खिलाफ आईपीसी की विभिन्न धाराओं, आपराधिक कानून (संशोधन) अधिनियम की धारा 7 और विस्फोटक पदार्थ अधिनियम की धारा 3/4 के तहत पुलिस स्टेशन चौबेपुर, कानपुर नगर में मामला दर्ज है। याची पर आरोप था कि उसने मनीष यादव नाम के व्यक्ति का फोन नंबर इस्तेमाल कर मुख्य आरोपी विकास दूबे से संपर्क किया और वह 2 जुलाई 2020 की घटना में सक्रिय भूमिका में था।
हालांकि याची के अधिवक्ता का तर्क है कि कथित घटना के समय याची विकास दूबे के संपर्क में नहीं था। याची का केवल दो मामलों का आपराधिक इतिहास है। वर्तमान मामले में पुलिस द्वारा उसे झूठे तरीके से फंसाया गया है। अंत में कोर्ट ने सुप्रीम कोर्ट के फैसले का हवाला देते हुए कहा कि संविधान के अनुच्छेद 21 के अनुसार प्रत्येक कैदी को शीघ्र रिहाई का मौलिक अधिकार है। वर्तमान मामले में मुकदमे के समापन की अनिश्चितता और पुलिस द्वारा एकतरफा जांच को देखते हुए निजी बांड और समान राशि के दो जमानतदार प्रस्तुत करने की शर्त पर याची को रिहा करने का निर्देश दिया।