Alaya Homes Apartment: टूटेगा अलाया होम्स अपार्टमेंट, असमंजस में आवंटी, जाएंगे कोर्ट

Amrit Vichar Network
Published By Deepak Mishra
On

लखनऊ, अमृत विचार। आवास सचिव की कोर्ट में याचिका खारिज होने के बाद डालीबाग में मानचित्र के विपरीत बना अलाया होम्स अपार्टमेंट फिर से ध्वस्तीकरण की जद में आ गया है। निर्माण कितना अवैध है और कहां से टूटेगा इसकी आवंटियों को जानकारी नहीं मिली है। इससे फ्लैटों में रहने वाले सभी परिवार दहशत और असमंजस में हैं। वह ध्वस्तीकरण आदेश के विरोध में हाईकोर्ट जाएंगे। बुधवार को सोसाइटी की तरफ से बैठक करके यह निर्णय लिया गया है।

यजदान बिल्डर ने अलाया होम्स अपार्टमेंट का लखनऊ विकास प्राधिकरण से ढाई मंजिल का मानचित्र स्वीकृत कराया था और निर्माण पांच मंजिल तक किया। इस पर प्राधिकरण ने निर्माण मानचित्र के विपरीत और अवैध बताकर वर्ष 2024 में ध्वस्तीकरण का आदेश पारित किया था। नोटिस भी चस्पा किए थे। इस आदेश के विरोध में आवंटियों ने आयुक्त न्यायालय में अपील की थी, जो खारिज होने के बाद आवास आयुक्त कोर्ट में याचिका दायर की गई। साथ ही हाईकोर्ट में अपील की थी। कोर्ट ने शासन का आदेश आने तक स्टे दे दिया था। इस वजह से किसी तरह का नोटिस या अन्य प्रक्रिया नहीं की गई।

इधर, हाल में आवास आयुक्त कोर्ट में भी याचिका खारिज हो गई। इससे प्राधिकरण का ध्वस्तीकरण आदेश प्रभावी हो गया है। लेकिन, अभी तक यह स्पष्ट नहीं है कि कितना निर्माण अवैध है। ऊपर के अतिरिक्त तल तोड़े जाएंगे या फिर पूरा अपार्टमेंट तोड़ा जाएगा। परिसर में कुल 35 फ्लैटों पर परिवार रहते हैं। उनका का कहना है सीधे एक लाइन में अपार्टमेंट ध्वस्त करने का आदेश मिला है। इससे असमंजस की स्थिति बनी हुई है। वहीं, प्राधिकरण के अधिकारियों का कहना है कि मानचित्र के विपरीत किया निर्माण ध्वस्त किया जाएगा।

हादसे के दौरान चिह्नित किया था अलाया होम्स

वर्ष 2023 में यजदान बिल्डर का वजीर हसन रोड में बना दूसरा पांच मंजिल अलाया अपार्टमेंट भरभराकर गिरने से तीन लोगों की मौत हो गई थी। उसी समय एलडीए ने घटना का संज्ञान लेकर यजदान बिल्डर की जांच कराई थी। शहर में बिल्डर के कुल पांच अपार्टमेंट मिले थे। इसमें एलडीए ने एक बालू अड्डा के पास नजूल की जमीन पर निर्माणाधीन यजदान अपार्टमेंट ध्वस्त किया था और दूसरा डालीबाग में अलाया होम्स अपार्टमेंट मानचित्र के विपरीत मिलने पर ध्वस्तीकरण का आदेश जारी किया था।

भाग गया बिल्डर, पार्टी बने आवंटी

आवंटी शक्ति सिंह ने बताया कि याचिका उन्होंने दायर की थी। सभी लोगों ने जीवन भर की कमाई फंसाकर लाखों रुपये के फ्लैट खरीदे हैं। लेकिन, अब तक यह स्पष्ट नहीं है कि ध्वस्तीकरण कितना किया जाएगा। गलती बिल्डर की है। जिसे नोटिस तक नहीं मिला और भाग गया। उसकी जगह पार्टी आवंटी बन गए और अपने हक के लिए लड़ रहे हैं। साेसाइटी की तरफ से की गई बैठक में हाईकोर्ट जाने का निर्णय लिया है। आदेश के विरोध में बुधवार को सोसाइटी की तरफ से बैठक की गई। पदाधिकारियों और आवंटियों ने रणनीति बनाई। जोकि आदेश के खिलाफ हाईकोर्ट जाएंगे।

संबंधित समाचार