बाराबंकी: एसडीएम ने ली तीन बच्चों के पढ़ाई की जिम्मेदारी, पिता की मृत्यु के बाद आर्थिक तंगी से जूझ रहे थे बच्चे
हैदरगढ़/बाराबंकी, अमृत विचार। पिता की मृत्यु के बाद आर्थिक तंगी से जूझ रहे एक दलित परिवार के तीन बच्चों की शिक्षा की जिम्मेदारी उपजिलाधिकारी राजेश विश्वकर्मा ने अपने निजी खर्च पर उठाने का निर्णय लिया है। एसडीएम के इस मानवीय कदम से परिवार सहित स्थानीय लोगों में खुशी की लहर है।
नगर पंचायत हैदरगढ़ के पूरे मितई वार्ड निवासी स्व. राकेश के तीनों बच्चे राधिका कक्षा 11, अनुराधा कक्षा 7 और रणबीर कक्षा 4 अपने पिता की आकस्मिक मृत्यु के बाद शिक्षा जारी रखने में असमर्थ थे। शनिवार को तहसील समाधान दिवस में पहुंचे बच्चों ने एसडीएम को बताया कि वह फीस जमा न कर पाने के कारण विद्यालय से टीसी लेकर किसी सरकारी स्कूल में प्रवेश लेना चाहते हैं।
विद्यालय प्रबंधक पंकज यादव से जानकारी मिली कि सत्र के बीच में टीसी लेने पर बच्चों का प्रवेश अन्य विद्यालय में संभव नहीं होगा। इस पर एसडीएम ने बच्चों की पढ़ाई की स्थिति व रुचि जानने के बाद तीनों को ‘गोद’ लेने की घोषणा की।
उन्होंने कहा कि “बच्चे जितना पढ़ना चाहेंगे, उनकी पढ़ाई का पूरा खर्च मैं अपने निजी संसाधनों से उठाऊंगा।” एसडीएम के इस निर्णय से बच्चों के चेहरे पर मुस्कान लौट आई। तहसील सभागार में मौजूद अधिवक्ताओं और कर्मचारियों ने भी उनके इस सराहनीय कदम की जमकर प्रशंसा की।
