Invest in Hapur Summit: समिट में 1300 करोड़ के मिले निवेश प्रस्ताव, दिल्ली-NCR का नया ग्रोथ सेंटर बनेगा पश्चिमांचल का हापुड़
लखनऊ, अमृत विचार: मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में प्रदेश सरकार के निवेश-अनुकूल विजन का असर अब दिल्ली-एनसीआर के नए क्षेत्रों में साफ दिखाई देने लगा है। इसी क्रम में हापुड़ तेजी से एक उभरते औद्योगिक और शहरी विकास केंद्र के रूप में अपनी पहचान बना रहा है। हापुड़-पिलखुवा विकास प्राधिकरण (एचपीडीए) द्वारा आयोजित इन्वेस्ट इन हापुड़ समिट-2025 में करीब 1300 करोड़ रुपये के निवेश प्रस्ताव प्राप्त हुए, जिसने हापुड़ को एनसीआर के नए ग्रोथ इंजन के रूप में स्थापित कर दिया है।
समिट का उद्देश्य हापुड़-पिलखुवा क्षेत्र की वास्तविक क्षमता को निवेशकों के सामने प्रस्तुत करना और संगठित, नियोजित विकास के लिए पूंजी आकर्षित करना रहा। कार्यक्रम के मुख्य अतिथि प्रदेश के वित्त एवं संसदीय कार्य मंत्री सुरेश कुमार खन्ना ने उद्घाटन सत्र में 100 से अधिक निवेशकों के समक्ष कहा कि दिल्ली-एनसीआर का विकास अब केवल नोएडा, गाजियाबाद या गुरुग्राम तक सीमित नहीं रहेगा। हापुड़ जैसे क्षेत्र अब नए विकास केंद्र के रूप में उभर रहे हैं। एचपीडीए के उपाध्यक्ष डॉ. नितिन गौड़ ने बताया कि यह पहली बार है जब प्राधिकरण स्तर पर इन्वेस्टर समिट का आयोजन किया गया। मुख्यमंत्री के निर्देश पर हरिपुर आवासीय योजना के अंतर्गत 30 हेक्टेयर का नया लैंड बैंक विकसित किया जा रहा है, जिसमें से 21 हेक्टेयर भूमि का अधिग्रहण पूरा हो चुका है।
बढ़ी आय, मजबूत हुआ भरोसा
समिट में प्रस्तुत आंकड़ों ने निवेशकों का भरोसा और मजबूत किया। पिछले दो वर्षों में हापुड़-पिलखुवा विकास प्राधिकरण का कुल लाभ 172 करोड़ रुपये से बढ़कर 435 करोड़ रुपये तक पहुंच गया है। वहीं नक्शों और विभिन्न स्वीकृतियों से होने वाली आय 5.3 करोड़ रुपये से बढ़कर 26.32 करोड़ रुपये हो गई है। यह वृद्धि प्रशासनिक दक्षता और ईज ऑफ डूइंग बिजनेस की सफलता को दर्शाती है।
कनेक्टिविटी और मास्टर प्लान बना ताकत
निवेशकों को बताया गया कि हापुड़ अब केवल ग्रामीण छवि वाला क्षेत्र नहीं है, बल्कि दिल्ली से लगभग 15 मिनट की दूरी पर स्थित एक उभरता हुआ शहरी-औद्योगिक केंद्र है। वर्ष 2024 में स्वीकृत मास्टर प्लान, मजबूत रोड नेटवर्क और एनएच-9, दिल्ली-मेरठ एक्सप्रेस-वे व गंगा एक्सप्रेस-वे से कनेक्टिविटी हापुड़ की बड़ी ताकत बनकर सामने आई है। समिट में उद्योग, रियल एस्टेट, हॉस्पिटल, शिक्षा संस्थान और ग्रुप हाउसिंग से जुड़े निवेशकों को ग्राम-वार खसरे सहित भूमि की विस्तृत जानकारी उपलब्ध कराई गई।
