बरेली: प्रदूषित पानी परेशानी का सबब, मानव अधिकार आयोग में शिकायत दर्ज
बरेली, अमृत विचार। लम्बे वक्त से गांव मे नाले के जरिए बह रहा फैक्टरियों का प्रदूषित पानी ग्रामवासियों के लिए परेशानी का सबब बना हुआ है। इसकी शिकायत फरीदपुर के गांव नौगवां की ओर से मानव अधिकार आयोग में दर्ज कराई गई है। इलाहाबाद उच्च न्यायालय के अधिवक्ता गजेंद्र सिंह यादव ने मामले को मानवाधिकार का …
बरेली, अमृत विचार। लम्बे वक्त से गांव मे नाले के जरिए बह रहा फैक्टरियों का प्रदूषित पानी ग्रामवासियों के लिए परेशानी का सबब बना हुआ है। इसकी शिकायत फरीदपुर के गांव नौगवां की ओर से मानव अधिकार आयोग में दर्ज कराई गई है। इलाहाबाद उच्च न्यायालय के अधिवक्ता गजेंद्र सिंह यादव ने मामले को मानवाधिकार का हनन मानते हुए राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग, दिल्ली में दर्ज करा दिया है। जल्द ही फैक्ट्री संचालकों को नोटिस जारी हो जायेंगे। निस्तारण न होने पर राष्ट्रीय हरित प्राधिकरण, नई दिल्ली मेे भी मामला दर्ज कराने जा रहे हैं। इसके अलावा उच्च न्यायालय में भी रिट के जरिए जाने की तैयारी है।
एडवोकेट गजेंद्र सिंह यादव ने बताया कि नाला टीपी नगर से होता हुआ आता है और ग्राम नौगवां के रेलवे के पुल के नीचे से गुजरता है। इस नाले में रजऊ परसपुर की फैक्टरियों का प्रदूषित पानी छोड़ा जाता है। इस नाले का पानी विषाक्त पदार्थों से युक्त है। यह पानी इतना दूषित व हानिकारक है कि इसमें यदि कोई मवेशी भी चला जाए तो उसे त्वचा संक्रमण हो जाता है। इस प्रदूषण की वजह से गांव के हैंडपंप से आने वाला पानी भी दूषित हो चुका है तथा पीने के जल में भी हानिकारक प्रदूषक मौजूद है।
इससे पूरे गांव में अनेक लोगों को प्रदूषण जनित बीमारियां हो चुकी है तथा भविष्य में भी कोई बड़ी संक्रामक बीमारी फैलने का खतरा है। इसकी शिकायत ग्रामवासियों ने कई बार जनसुनवाई पोर्टल पर तथा पत्र के माध्यम से जिलाधिकारी व उपजिलाधिकारी फरीदपुर को सूचित किया लेकिन अभी तक इस पर कोई कार्रवाई हुई और न ही कोई अधिकारी मौके पर जांच को पहुंचा है।
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