बांदा: रेल परिसर के सार्वजनिक शौचालय पर जड़ दिया ताला
बांदा, अमृत विचार। मोदी सरकार की खुले में शौच पर रोक लगाने की थीम पर अतर्रा रेलवे कर्मचारी पानी फेरने पर तुले हुए हैं। कर्मचारियों की मनमानी के चलते रेलवे परिसर पर सार्वजनिक शौचालय पर ताला जड़ा हुआ है। यात्री खुले में शौच जाने को मजबूर हैं। नगरवासियों ने यात्रियों की सुविधाओं को लेकर स्थानीय …
बांदा, अमृत विचार। मोदी सरकार की खुले में शौच पर रोक लगाने की थीम पर अतर्रा रेलवे कर्मचारी पानी फेरने पर तुले हुए हैं। कर्मचारियों की मनमानी के चलते रेलवे परिसर पर सार्वजनिक शौचालय पर ताला जड़ा हुआ है। यात्री खुले में शौच जाने को मजबूर हैं। नगरवासियों ने यात्रियों की सुविधाओं को लेकर स्थानीय रेलवे कर्मचारियों पर लापरवाही बरतने का आरोप लगाते हुए तत्काल शौचालय का खोले जाने की मांग की है। शौचालय का ताला न खोले जाने पर कांग्रेसियों ने आंदोलन की चेतावनी दी है।
सार्वजनिक स्थलों पर आम नागरिकों के लिए मूलभूत सुविधाओं की व्यवस्था होती है, लेकिन रेलवे परिसर में इन दिनों रेलवे कर्मचारियों की हिटलरशाही यात्रियों के लिये भारी परेशानियों का सबब बनी हुई है। यात्रियों के लिए रेलवे परिसर में बने शौचालय पर कर्मचारी सफाई व्यवस्था बिगड़ने के नाम पर ताला जड़े हुए हैं।
कस्बे का रेलवे स्टेशन वैसे तो रोजाना क्षेत्र के हजारों यात्रियों से खचाखच भरा रहता है, जिससे रेल विभाग की भी रोजाना अच्छी आमदनी हो रही है, लेकिन मूलभूत सुविधाओं के नाम पर यात्रियों के साथ ठगी की जा रही है। रेलवे परिसर पर बने सार्वजनिक शौचालय को यात्री प्रयोग नहीं कर सकते, क्योंकि यहां के रेलवे कर्मचारियों ने यह कहकर ताला जड़ा हुआ है कि इससे गंदगी फैलती है।
बातचीत के दौरान रेलवे कर्मचारियों से पता चला है कि यह ताला उन्होंने बाहरी लोगों द्वारा शौचालय में गंदगी फैलने से रोकने को लगा रखा है। इसकी वजह से सुबह के वक्त ट्रेनों के दर्जनों महिला व पुरुष यात्री मजबूरीवश रेलवे परिसर समेत आसपास के के खेत-खलिहान में शौच जाने को मजबूर हैं। इसकी वजह से रेलवे परिसर व आसपास गंदगी और दुर्गंध फैल रही है। रेल कर्मचारियों की इस हिटलरशाही फरमान से आम जनमानस में भी आक्रोश साफ दिख रहा है। वहीं कांग्रेस जिला महासचिव सूरज बाजपेई ने कर्मचारियों जल्द शौचालय न खुलने पर आंदोलन की चेतावनी दी है।
