अयोध्या: अवध विश्वविद्यालय में परीक्षा का गजब हाल, बिना परीक्षक ही करा ली प्रायोगिक परीक्षा, ऐसे खुला मामला

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Published By Deepak Mishra
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अयोध्या, अमृत विचार। डॉ. राम मनोहर लोहिया अवध विश्वविद्यालय द्वारा संचालित परीक्षाओं में अजब-गजब हाल है। विश्वविद्यालय ने प्रायोगिक परीक्षा के लिए एक महाविद्यालय में एक ही शिक्षक को बाह्य और आंतरिक परीक्षक नियुक्त कर दिया, तो वही संबंधित महाविद्यालय ने बिना परीक्षक के ही परीक्षा संपन्न करा डाली। अब परीक्षक ने ही शिकायत की तो मामला खुला है।

गोण्डा के लखनलाल शरण सिंह महाविद्यालय के प्रवक्ता कृषि डा. पंकज तिवारी ने अवध विश्विद्यालय को शिकायती पत्र भेजा है। पत्र में कहा गया है कि विश्वविद्यालय द्वारा बीते 30 जनवरी को उन्हें बाराबंकी के कान्ती महाविद्यालय अमरी गांव रामनगर में बीएससी सेकेंड सेमेस्टर की आंतरिक प्रायोगिक परीक्षा कराने के लिए परीक्षक नियुक्त किया गया था। 

10 फरवरी तक परीक्षा करा लेनी थी। शिकायत में कहा गया है कि महाविद्यालय ने उन्हें बिना बुलाए व बिना सूचना दिए प्रायोगिक परीक्षा करा ली। डा तिवारी ने परीक्षा नियंत्रक से संबधित प्रायोगिक परीक्षा निरस्त करने की मांग करते हुए उन्हें बतौर परीक्षक परीक्षा कराने की मांग की है। 

इसे लेकर अवध विश्वविद्यालय द्वारा संचालित परीक्षा पर भी सवाल खड़े हो गए हैं। इस संबंध में विवि के परीक्षा नियंत्रक उमानाथ ने बताया कि डॉ पंकज कुमार तिवारी का शिकायत पत्र प्राप्त हुआ है। विश्वविद्यालय प्रशासन महाविद्यालय के खिलाफ नियमानुसार कार्यवाही करेगा।

एक ही शिक्षक को बना दिया आन्तरिक व वाह्य परीक्षक
संबधित मामलें में अवध विश्विद्यालय की लापरवाही भी उजागर हुई है। परीक्षा नियंत्रक द्वारा तीस जनवरी को जारी पत्र में डा पंकज तिवारी को ही बाराबंकी के कालेज की सम्बंधित परीक्षा के लिए आन्तरिक और वाह्य परीक्षक बना दिया गया। 

जबकि नियमानुसार दोनों परीक्षक अलग - अलग होने चाहिए। इस संबंध में परीक्षा नियंत्रक का कहना है कि यदि संबधित परीक्षक वाह्य परीक्षा के लिए असमर्थता व्यक्त करते तो दूसरा परीक्षक नियुक्त किया जाता।

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