बरेली: अभियोजन के विरुद्ध कार्रवाई के लिए कोर्ट ने प्रमुख सचिव को भेजा पत्र

बरेली: अभियोजन के विरुद्ध कार्रवाई के लिए कोर्ट ने प्रमुख सचिव को भेजा पत्र

बरेली, अमृत विचार। न्यायालय में सुनवाई के वक्त सहायक अभियोजन अधिकारी के मौजूद न होने पर लघुवाद न्यायाधीश रवि कुमार दिवाकर ने अभियोजन विभाग के विरुद्ध डीएम और प्रमुख सचिव गृह को पत्र भेज कार्रवाई के निर्देश दिए हैं।

वर्ष 2012 में सुभाषनगर थाने में दर्ज केस राज्य बनाम गणेश आदि में बुधवार को चुटैल गवाह हेमराज आया था। इस दौरान सरकारी वकील कोर्ट में मौजूद नहीं थे। पत्र में उल्लेख किया कि बिथरी चैनपुर थाने के जमानत प्रार्थना पत्रों की सुनवाई के वक्त भी अभियोजन अधिकारी मौजूद नहीं थे।

ऐसा प्रतीत होता है कि अभियोजन विभाग को साक्ष्य कराने में कोई रुचि नहीं है, जबकि शासन की स्पष्ट मंशा है कि यदि कोई गवाह कोर्ट के समक्ष हाजिर होता है तो उसके बयान अवश्य ही अंकित होने चाहिए और साक्षी का किसी प्रकार से अनावश्यक शोषण नहीं होना चाहिए। अब गवाह के बयान के लिए 1 जून की तिथि नियत की गई है। इसके अलावा कोर्ट ने थानाध्यक्ष सुभाषनगर और बिथरी चैनपुर को आदेशित किया कि जिन प्रकरणों में पुलिस कर्मचारी गवाह हैं, उनके चार्जशीट में पीएनओ नंबर और मोबाइल नंबर जरूर अंकित किए जाएं।

यदि कोई डॉक्टर साक्षी है तो उसका भी मोबाइल नंबर अंकित करें। इसके बगैर चार्जशीट वापस कर दी जाएगी।अमूमन देखने में आता है कि स्टेट क्रिमिनल केसों में औपचारिक गवाह जैसे पुलिस, डॉक्टर आदि होते हैं इनका गैर जनपद में तबादला हो जाता है। इस वजह से आसानी से ट्रेस नहीं हो पाते हैं। केस निपटारे में देरी होती है।

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