दिल्ली कांग्रेस ने मणिपुर हिंसा और राहुल गांधी को अयोग्य करार देने के खिलाफ किया प्रदर्शन 

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Published By Om Parkash chaubey
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नई दिल्ली। कांग्रेस की दिल्ली प्रदेश इकाई ने मणिपुर में जातीय संघर्ष और राहुल गांधी को लोकसभा की सदस्यता से अयोग्य करार दिए जाने के खिलाफ रविवार को यहां मौन विरोध प्रदर्शन किया। कांग्रेस के कई नेता और कार्यकर्ता "मौन सत्याग्रह धरना" के लिए शहर के मध्य में जंतर-मंतर पर एकत्र हुए।

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दिल्ली कांग्रेस अध्यक्ष अनिल चौधरी ने कहा कि विरोध प्रदर्शन के माध्यम से कांग्रेस पार्टी आम लोगों को प्रभावित करने वाले मुद्दों को उजागर कर रही है। चौधरी ने कहा, "आप राहुल गांधी की लोकसभा सदस्यता, उनका घर छीन सकते हैं, लेकिन वह डरेंगे नहीं। 'मौन सत्याग्रह' के जरिये कांग्रेस पार्टी आम लोगों के मुद्दों को सरकार के सामने ला रही है।"

कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष गांधी को 2019 के आपराधिक मानहानि मामले में सूरत की एक अदालत द्वारा दोषी ठहराए जाने के एक दिन बाद 24 मार्च को लोकसभा की सदस्यता से अयोग्य घोषित किया गया था। चौधरी ने कहा कि ''संविधान पर हमले'' हुए हैं और कांग्रेस संसद के अंदर और बाहर बेरोजगारी तथा महंगाई के मुद्दे उठाती रहेगी। उन्होंने दावा किया, ‘‘आज हम अपनी यह मांग उठाने के लिए यहां एकत्र हुए हैं कि केंद्र सरकार को उठाए जा रहे मुद्दों पर सवालों का जवाब देना चाहिए।’’

संघर्षग्रस्त मणिपुर की स्थिति की तुलना राजस्थान (जहां कांग्रेस सत्ता में है) से करने के लिए भाजपा की आलोचना करते हुए चौधरी ने कहा, "भाजपा को खुद पर शर्म आनी चाहिए।” मणिपुर में तीन मई को जातीय हिंसा भड़कने के बाद से अब तक कई लोगों की मौत हो चुकी है और कई अन्य घायल हुए हैं। 

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