कासगंज: सरकारी राशन में प्लास्टिक के चावल निकलने का दावा निकला हवा-हवाई

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Published By Vikas Babu
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गंजडुंडवारा, अमृत विचार: गंजडुंडवारा गांव मस्तीपुर में एक उपभोक्ता द्वारा राशन वितरक के यहां से लाए चावल मे नकली प्लास्टिक युक्त चावल मिले होने का दावा कर वीडियो वायरल कर दिया गया। लेकिन जब अमृत विचार द्वारा मामले की पड़ताल की गई तो यह घटना भ्रामक निकली और खाद्य एवं रसद विभाग के अधिकारियो द्वारा इस चावल को फोर्टेफाइड राइस कर्नेल चावल बताया और इसे आयरन की कमी दूर करने मे सहायक एवं पोषण युक्त बताया गया।

मामले मे गांव मस्तीपुर निवासी ओमपाल और रामरहीस का आरोप है कि बुधवार को राशन डीलर से अपना राशन लेकर आए थे। उनकी परिजनों ने चावल पकाने से पूर्व जब साफ करने के बाद पानी में भिगोया तो कुछ चावल ऊपर तैरने लगे जो अन्य चावल से भिन्न चावल दिखाई दे रहे थे।

भिन्न चावल सफेद और उससे मोटा था। शक हुआ तो वह उसे दांत से दबाने पर वह पिसने के बजाए फटा लेकिन चावल दांतो तले पिसा नहीं। उनके अनुसार एक किलो चावल में दो सौ ग्राम तक प्लासस्टिक के चावल मिले हैं। जब चावल को पकाकर खाया गया तो वे दांतों से चिपक गए।

वहीं गांव के कुछ अन्य लोगों ने भी राशन मे दिए जा रहे चावलों में प्लास्टिक के चावलों की मिलावट की बात कही गई और राशन डीलर की दुकान  पर कई कार्ड धारक महिलाएं खराब चावल की शिकायत करने पहुंचे। लेकिन खाद्यय एवं रसद विभाग के अधिकारियो द्वारा इस चावल को फोर्टेफाइड राइस कर्नेल चावल बता वायरल खबर का खण्डन कर दिया गया।

राशन मे वितरित चावल मे फोर्टेफाइड राइस कर्नेल मिला हुआ चावल मिलता है। जो अन्य चावल से भिन्ने दिखता है। इसलिए लोग इसे प्लास्टिक का समझ लेते हैं। जबकि लोगों में आयरन की कमी को दूर एवं पोषण हेतु इसे वितरण किया जा रहा है। इस सम्बंध मे जागरूक करने के लिए अभियान चलाकर उपभोक्तओं को बताया गया है- भारत साधियान, पूर्ति निरीक्षक पटियाली

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