कानपुर में सीसामऊ उपचुनाव के लिए बीजेपी ने सुरेश अवस्थी को मैदान में उतारा: सपा से नसीम सोलंकी से रहेगी टक्कर, इस सीट पर लगातार SP का कब्जा

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Published By Deepak Shukla
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कानपुर, अमृत विचार। सीसामऊ उपचुनाव के लिए बीजेपी ने उम्मीदवार की घोषणा कर दी गई। बीजेपी ने सुरेश अवस्थी प्रत्याशी घोषित किया है। बीजेपी के लिए यह सीट जीतना बहुत ही चुनौतीपूर्ण है। वहीं, सपा ने इस सीट पर नसीम सोलंकी को मैदान में उतारा है। नसीम पूर्व विधायक इरफान सोलंकी की पत्नी है। इरफान आगजनी, फर्जी यात्रा करने में महाराजगंज जेल में बंद है। सीसामऊ सीट पर वर्षों से सपा का ही कब्जा रहा है।

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इरफान सोलंकी के पिता हाजी मुश्ताक सोलंकी दो बार विधायक रहे। इसके बाद लगातार चार बार से इरफान सोलंकी विधायक बनते आ रहे है। हालांकि बीते दिनों जीआईसी मैदान में सीएम योगी आदित्यनाथ ने जनसभा कर सीसामऊ की जनता को साधा था।

वर्ष 2017 में सीसामऊ सीट से प्रत्याशी रहे सुरेश अवस्थी को भाजपा ने एक बार फिर सीसामाऊ विधानसभा के उपचुनाव से मैदान में उतारा है। उनकी पत्नी का नाम पूनम अवस्थी हैं। उनकी आय का मुख्य स्रोत व्यापार है। एमकॉम, एलएलबी की पढ़ाई करने वाले सुरेश अवस्थी छात्र राजनीति में सक्रिय रहे हैं।

विधानसभा चुनावों में सपा प्रत्याशियों से मिली 2 बार पराजय

बता दें, 2017 के विधानसभा चुनाव में इरफान सोलंकी को 73030 जबकि सुरेश अवस्थी को 67204 वोट मिले थे। इस तरह सुरेश अवस्थी को 5826 वोटों से इरफान सोलंकी के हाथों पराजय का सामना करना पड़ा था। वहीं 2022 के विधानसभा चुनाव में सुरेश आर्यनगर से लड़े थे, जहां सपा के अमिताभ बाजपेई को 76897 और सुरेश को 68973 वोट मिले थे। इस तरह अमिताभ बाजपेई के हाथों 7924 वोटों से हार का सामना करना पड़ा था।

नसीम सोलंकी

सपा प्रत्याशी नसीम सोलंकी से सीधी होगी टक्कर

सीसामऊ सीट पर सपा पार्टी का लगातार कब्जा रहा है। पूर्व विधायक इरफान सोलंकी महाराजगंज जेल में बंद है। उनकी पत्नी नसीम सोलंकी को सपा ने इस सीट पर टिकट दिया है। सपा के कब्जे में रही इस सीट पर नसीम को हराना बीजेपी के लिए आसान नहीं होने वाला है। फिलहाल भाजपा ने इस सीट पर कब्जा करने के लिए पूरा दम लगाया हुआ है। ऐसे में माना जा रहा है कि सुरेश अवस्थी और नसीम सोलंकी के बीच कांटे का मुकाबला होगा।

नीतू सिंह, मुकुंद मिश्रा, राकेश सोनकर हुए निराश

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संघ की ओर से बैरिस्टर वीरेंद्र जीत सिंह की बहू नीतू सिंह के नाम को आगे किया गया था। उनके नाम पर भी चर्चाएं चल रही थीं। राकेश सोनकर ने तो नामांकन के तीन सेट लिए और सीएम योगी से लखनऊ तक मिलने पहुंच गए। वहीं मुकुंद मिश्रा के अति करीब संत मिश्रा व उनके साथियों ने नगर निगम जोन एक कार्यालय पहुंचकर नोड्यूज लेने की प्रक्रिया शुरू कर दी। 

लेकिन पार्टी ने सुरेश अवस्थी के नाम पर अंतिम मुहर लगाकर नीतू सिंह, मुकुंद मिश्रा और राकेश सोनकर की उम्मीदों पर पानी फेर दिया। तीनों को ही प्रत्याशी के नाम के ऐलान के बाद भारी निराशा का सामना करना पड़ा।

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