BLO के रूप में तैनात शिक्षामित्र नानबच्चा की मौत: KGMU में 10 दिन इलाज के बाद तोडा दम, परिवार में कोहराम
गोंडा, अमृत विचार: रुपईडीह ब्लाक के प्राथमिक विद्यालय बनगाई में बीएलओ के रूप में तैनात शिक्षामित्र नानबच्चा 10 दिन तक संघर्ष करने के बाद आखिर में जिंदगी की जंग हार गए। सोमवार की देर रात लखनऊ के केजीएमयू में इलाज के दौरान उनकी मौत हो गयी।
एसआईआर कार्य के लिए नानबच्चा की ड्यूटी बीएलओ के रूप में लगाई गयी थी। बीते 6 दिसंबर को खंड शिक्षा अधिकारी के फटकार के बाद उनकी तबीयत बिगड़ गयी थी।
पहले उन्हे जिला अस्पताल और फिर लखनऊ मेडिकल कालेज रेफर किया गया था। तब से वह लगातार वेंटिलेटर पर थे। नानबच्चा की मौत का खबर से उनके परिवार में कोहराम मचा है। मृतक की पत्नी कृष्णावती ने खंड शिक्षा अधिकारी रियाज अहमद व सुपरवाइजर धर्मेंद्र पर गंभीर आरोप लगाए हैं।
एसआईआर कार्य में लगे जिले में यह दूसरे बीएलओ की मौत है। बीएलओ नानबच्चा की मौत तथा पत्नी के आरोपों के बाद प्रशासन सतर्क हो गया है। उनके पैतृक गांव समेत आसपास के इलाके में भारी पुलिस फोर्स तैनात कर दी गयी है।
जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी अमित सिंह अपने पूरे महकमें के साथ मृतक बीएलओ के गांव पहुंच गए हैं। वहीं उत्तर प्रदेेशीय प्राथमिक शिक्षामित्र संघ के जिलाध्यक्ष अवधेश मणि मिश्रा ने बीएलओ नानबच्चा की मौत पर गहरा आक्रोश व्यक्त किया है। उन्होने मृतक के परिवार को 50 लाख रुपये का मुआवजा देने तथा पूरी घटना की न्यायिक जांच की मांग की है।
