मेटा करेगी फिक्की के एक्सआर ओपन सोर्स फेलोशिप प्रोग्राम की मदद

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Published By Vikas Babu
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नई दिल्ली। एक्सआर प्रौद्योगिकियों के विकास में भारत के योगदान में तेजी लाने की अपनी प्रतिबद्धता के अंतर्गत मेटा एक्सआर ओपन सोर्स (एक्सआरओएस) फेलोशिप प्रोग्राम के लिए 10 लाख डालर के साथ उद्योग मंडल फेडरेशन ऑफ इंडियन चैंबर्स ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्री (फिक्की) की मदद कर रहा है।

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मेटा की एक विज्ञप्ति के अनुसार फिक्की द्वारा संचालित, एक्सआरओएस, एक्सआर (विस्तारित वास्तविकता) प्रौद्योगिकियों पर काम कर रहे 100 भारतीय डेवलपर को फेलोशिप प्रदान करके उनकी मदद करेगा। इस मदद में वजीफा और सलाह शामिल है।

इस कार्यक्रम में इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय (मइटी) की एक पहल, राष्ट्रीय ई-गवर्नेंस डिवीजन, कार्यक्रम का तकनीकी भागीदार होगी। बयान में कहा गया है कि यह कार्यक्रम डेवलपर को एक्सआर तकनीक से संबंधित ओपन सोर्स प्रोजेक्ट में योगदान देने में मदद करेगा और भारतीय भाषाओं के लिए किफायती, उपयुक्त और स्थानीयकृत भारत विशिष्ट समाधानों की नींव रखेगा।

फिक्की के साथ यहां मंगलवार को आयोजित एक कार्यक्रम में मेटा के वैश्विक मामलों के प्रेसिडेंट निक क्लेग,“ एक्सआर ओपन सोर्स जैसे कार्यक्रमों के माध्यम से हम इन रोमांचक प्रौद्योगिकियों पर काम कर रहे भारतीय डेवलपर का समर्थन करेंगे। उनकी प्रतिभा, अंतर्दृष्टि और प्रयास के साथ, हम यह सुनिश्चित करने की आशा करते हैं कि अगली पीढ़ी की इंटरनेट प्रौद्योगिकियां एक खुले, सहयोगी और सुलभ तरीके से निर्मित हों। ”

मेटा-फिक्की कार्यक्रम के उद्घाटन के इस अवसर पर केंद्र सरकार के प्रधान वैज्ञानिक सलाहकार प्रो. अजय कुमार सूद ने कहा, “ इस दशक को ‘भारत के टेकेड’ (तकनीकी प्रगति का भारत का दशक) बनाने का सपना तभी हासिल किया जा सकता है, जब टीयर 2 और टीयर 3 शहरों के युवा डेवलपर और स्टार्ट-अप्स शामिल हों।

मुझे खुशी है कि फिक्की और मेटा इस पहल की शुरुआत कर रहे हैं, जो न केवल डेवलपर को मौद्रिक प्रोत्साहन प्रदान करने पर ध्यान केंद्रित करेगा बल्कि इमर्सिव प्रौद्योगिकियों के निर्माण के लिए सही सलाह के साथ उनका समर्थन भी करेगा।”

फिक्की की समिति के सदस्य एवं भारत में सिंडीकेटम रिन्यूएबल एनर्जी के प्रमुख डेविन नारंग ने कहा कि यह कार्यक्रम 2025 तक भारत को दुनिया की अग्रणी अर्थव्यवस्था बनाने के लिए सरकार के दृष्टिकोण के अनुरूप भविष्य की प्रौद्योगिकियों में निवेश के विकास को बढ़ावा देने के लिए आवश्यक प्रोत्साहन प्रदान करेगा।

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