पीलीभीत: गोमांस तस्करों को संरक्षण देने वाले इंस्पेक्टर और चौकी इंचार्ज भी निलंबित

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Published By Moazzam Beg
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पीलीभीत, अमृत विचार। इनामी गोमांस तस्कर की धरपकड़ के बाद शुरू हुई पुलिस मिलीभगत की जांच में एक-एक कर नई परतें खुलती जा रही है। छह सिपाहियों के निलंबन के बाद अब इंस्पेक्टर क्राइम और चौकी इंचार्ज की भी मिलीभगत उजागर हो गई। एसपी ने सख्त एक्शन लेते हुए दोनों निलंबित कर दिया है। जिसके बाद पुलिस विभाग में खलबली मच गई है।

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सूबे में भाजपा की सरकार बनने के बाद गोकशी करने वालों पर सख्ती के निर्देश दिए गए। इसे लेकर कार्रवाई चली और कईयों पर शिकंजा कसा गया। उसके बाद जिम्मेदार ही संरक्षक बन गए। लंबे समय से फरार चल रहे ईनामी तस्कर और उसके साथियों को 23 नवंबर को मुठभेड़ के बाद माधोटांडा पुलिस ने धर दबोचा। दूसरे दिन दो फरार साथियों की भी धरपकड़ की गई। इन तस्करों से हुई पूछताछ के बाद पुलिसकर्मियों के संरक्षण देने और गोपनीयता भंग करने की बात उजागर हुई। 

29 नवंबर को माधोटांडा थाने के सिपाही समीर अहमद, नितिन चौधरी, प्रिंस चौधरी और हजारा थाने में तैनात निशु यादव को निलंबित कर दिया गया। उसके बाद मुंशी असलम और सिपाही पंकज को भी निलंबित किया गया।  इसके बाद से ही अन्य पुलिसकर्मियों पर भी गाज गिरने की चर्चाएं तेज थी। यह कयास सही साबित हुए और सिपाही-मुंशी से चलती आ रही कार्रवाई में अब दरोगा और इंस्पेक्टर तक आंच आ गई। गोमांस तस्करों से सांठगांठ को लेकर चल रही इस कार्रवाई में अब इंस्पेक्टर क्राइम माधोटांडा धर्मेंद्र कुमार और जमुनिया चौकी इंचार्ज विशेष कुमार को निलंबित कर दिया गया है। 

इस मामले में पहले से जांच चल रही है। दो और पुलिसकर्मी निलंबित कर दिए गए हैं। गोकशी करने वालों पर सख्त एक्शन लिया जाएगा। किसी तरह की छूट नहीं दी जाएगी।- डॉ. पवित्र मोहन त्रिपाठी, एएसपी।

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