सुल्तानपुर: शिक्षकों के बहिष्कार से नहीं शुरू हुआ काॅपियों का मूल्यांकन 

चारों मूल्यांकन केंद्रों पर धरने पर बैठे शिक्षक 

सुल्तानपुर: शिक्षकों के बहिष्कार से नहीं शुरू हुआ काॅपियों का मूल्यांकन 

अमृत विचार, सुल्तानपुर। पुरानी पेंशन बहाली व सीबीएसई बोर्ड जितना मूल्यांकन पारिश्रमिक समेत अन्य मांगों को लेकर शिक्षकों ने शनिवार से शुरू हो रहे यूपी बोर्ड परीक्षा की काॅपियों के मूल्यांकन का बहिष्कार कर दिया। शहर के जीआईसी गेट पर प्रदर्शन करते हुए आंदोलित शिक्षकों ने कोठार को बंद करा दिया। शिक्षकों के बहिष्कार से पहले दिन एक भी काॅपियों का मूल्यांकन नहीं हो सका। 

उत्तर प्रदेश माध्यमिक शिक्षा परिषद की हाईस्कूल व इंटरमीडिएट की वार्षिक परीक्षा का मूल्यांकन शनिवार से शुरू होना था। मूल्यांकन के लिए जिले में चार केंद्र बनाए गए हैं। पहले दिन माध्यमिक शिक्षक संघ चेत नारायण गुट, वित्त विहीन संघ ने मूल्यांकन का बहिष्कार कर दिया। अनौपचारिक रूप से इनका समर्थन अन्य संगठन के लोगों ने भी किया। शिक्षक जीआईसी के मुख्य गेट पर धरने पर बैठे। आंदोलन करते हुए कोठार बंद कर दिया। इसी तरह अन्य केंद्रों केशकुमारी राजकीय बालिका इंटर काॅलेज, महाराणा प्रताप इंटर काॅलेज उतुरी और नेशनल इंटर काॅलेज कादीपुर की भी रही। पहले दिन एक भी काॅपियों का मूल्यांकन नहीं हुआ। आंदोलन करने वालों में डा. अजय कुमार सिंह, अशोक सिंह, आत्ममित्र तिवारी, रणधीर सिंह, ब्रहृमदत्त तिवारी, विनय प्रताप सिंह, जितेंद्र कुमार, संतोष कुमार, अजय सिंह, कुलदीप तिवारी, मनोज वर्मा, अशोक पांडेय आदि रहे। 

शिक्षकों की ये है प्रमुख मांगें 
पुरानी पेंशन बहाल किया जाए, अद्यतन तदर्थ शिक्षकों का विनियमितीकरण किया जाए, वित्तविहीन विद्यालयों की मान्यता संसोधन को वापस लिया जाए, सीबीएसई की तर्ज पर मूल्यांकन पारिश्रमिक दिए जाने समेत अन्य मांगें शामिल है। 

वर्जन -
कई सालों से पहले दिन मूल्यांकन का बहिष्कार किया जाता है, फिर धीरे धीरे सब मूल्यांकन में जुट जाते हैं। शनिवार का 50 फीसदी तक ही परीक्षकों की उपस्थिति थी। रविवार से मूल्यांकन शुरू हो जाएगा। 
- एसके सिंह, डीआईओएस 


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