Nikay Chunav 2023 : मेयर को लेकर भाजपाई घर-घर, कांग्रेसी मेहनत का चढ़ा रंग, सपा की आंतरिक कलह सड़क पर आई
महापौर चुनाव जीतने को दावेदारों ने झोंकी ताकत
आशुतोष मिश्र, अमृत विचार। दो दिनों में हर चौखट पर पहुंचने और मतदाताओं से गुहार-मनुहार की योजना परवान चढ़ चुकी है। महापौर पद के दावेदारों ने जंग जीतने की हर कोशिश तेज कर दी है। भाजपा उम्मीदवार का रोड-शो, कांग्रेसियों का जनसंपर्क और सपा-बसपा के साथ अन्य प्रत्याशियों की भागदौड़ का लोग चौपाल पर मूल्यांकन कर रहे हैं। सपा में मेयर पद के उम्मीदवार चयन का विरोध सड़क पर धमाल मचाए हुए है और बसपा के कमजोर नेटवर्क ने महापौर से लेकर पार्षद पद के दावेदारों की धड़कन बढ़ा दी है।
किसी भी दल ने सभी वार्ड से अपने उम्मीदवार नहीं उतारे हैं। बसपा तो 34 वार्डों में ही सीमित है। भाजपा ने 65 पार्षद पद के उम्मीदवारों को टिकट दिया। सपा ने 51 और कांग्रेस ने 52, आप ने 47 और एआईएमआईएम ने 25 अधिकृत उम्मीदवारों को सिंबल दिया है। उधर, निवर्तमान महापौर विनोद अग्रवाल तीसरी बार शहर की सरकार के प्रमुख की कुर्सी हासिल करने में जोर लगाए हुए है। कांग्रेस के दावेदार हाजी रिजवान कुरैशी को अपनी मेहनत पर पूरा भरोसा है। साल 2017 के मेयर चुनाव में रिजवान दूसरे नंबर पर रहे। इस बार वह काफी उत्साहित हैं। सभाओं में अपने मुकाबले अन्य उम्मीदवारों की चर्चा कर स्वयं को दमदार ठहरा रहे हैं।
समाजवादी पार्टी ने आपसी घमासान के बीच रईसुद्दीन नईमी को अपना उम्मीदवार बनाया है। सपा उम्मीदवार यहां आंतरिक विरोध और कार्यकर्ताओं के असंतोष से जूझ रहे हैं। हद तो तब हो गई जब शनिवार की देर रात पार्टी प्रत्याशी के वाहन पर पथराव तक हो गया। लेकिन, पार्टी जिम्मेदार इस मुद्दे पर कुछ भी खुलकर बोलने से बच रहे हैं। मामला सिविल लाइंस पुलिस तक पहुंचा है। पुलिस इस घटनाक्रम को राजनीतिक चश्मे से देख रही है। बहरहाल, सपा वार्डों से लेकर महापौर तक की लड़ाई में अलग-अलग मोर्चों पर जूझ रही है। उधर, भाजपाई सांगठनिक क्षमता का बेहतर प्रदर्शन कर रहे हैं।
प्रभारी मंत्री जितिन प्रसाद, संगठन के प्रदेश अध्यक्ष भूपेंद्र सिंह चौधरी, शहर विधायक रितेश गुप्ता हर रणनीति को अमलीजामा पहनाने में जुटे हैं। महामंत्री (संगठन) धर्मपाल सिंह की व्यूह-रचना से लेकर मेयर प्रत्याशी विनोद अग्रवाल और सभी अनुषांगिक संगठनों के कार्यकर्ता उत्साहित नजर आ रहे हैं। बहुजन समाज पार्टी का भी दावा है कि वह हैरतअंगेज प्रदर्शन करेगी। जबकि सच यह है कि मोहम्मद यामीन का प्रचार और जनसंपर्क असरदार नहीं दिख रहा है। पार्टी सूत्र इसके पीछे महानगर में संगठन के कमजोर नेटवर्क को जिम्मेदार ठहरा रहे हैं।
वहीं, पार्टी के पार्षद पद को लेकर कई पदाधिकारी वार्डों में ही सिमट गए हैं। जिलाध्यक्ष वेद प्रकाश भारती मोनू और पूर्व जिला अध्यक्ष निर्मल सिंह सागर अपना तर्क रखते हैं। बसपा नेताओं का दावा है कि हम आशातीत प्रदर्शन करेंगे। आम आदमी पार्टी, एआईएमआईएम सहित अन्य सभी 12 मेयर उम्मीदवार प्रचार को गति दे रहे हैं। सभी दावेदारों ने ताकत झोंक दी है।
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