बरेली: दूसरे धर्म के चालक संग जाने पर जताई आपत्ति, मुख्य पुजारी निलंबित
बरेली, अमृत विचार। ट्रस्ट वाहन का चालक दूसरे धर्म का होने पर मंदिर के मुख्य पुजारी ने उसके साथ लखनऊ जाने पर आपत्ति जताई। इससे खफा श्री राममृर्ति स्मारक ट्रस्ट की ओर से पुजारी श्याम बिहारी चतुर्वेदी को तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया गया। मामले का संज्ञान लेते हुए प्रबंध न्यासी देवमूर्ति ने पत्र …
बरेली, अमृत विचार। ट्रस्ट वाहन का चालक दूसरे धर्म का होने पर मंदिर के मुख्य पुजारी ने उसके साथ लखनऊ जाने पर आपत्ति जताई। इससे खफा श्री राममृर्ति स्मारक ट्रस्ट की ओर से पुजारी श्याम बिहारी चतुर्वेदी को तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया गया।
मामले का संज्ञान लेते हुए प्रबंध न्यासी देवमूर्ति ने पत्र जारी कर कहा कि चिकित्सा सेवा या समाज सेवा सभी के मूल में ही नर सेवा, नारायण सेवा का भाव अन्तर्निहित है। ऐसी स्थिति में नर की जाति, वर्ण, धर्म, सम्प्रदाय, लिंग और मतावलंबियों के आधार पर विभाजित नहीं कर सकते हैं। यदि हमारे किसी भी कृत्य, सोच, आधार या विचार से ट्रस्ट, परिवार का कोई सदस्य या अन्य कोई भी व्यक्ति केवल इसलिए आहत होता है कि उसका जाति, वर्ण, धर्म, सम्प्रदाय और मत हमसे भिन्न है तो वह मानसिक कुंठा व क्षीण ज्ञान का परिचायक होगा।
देवमूर्ति ने कहा कि श्री राममूर्ति स्मारक ट्रस्ट ऐसे किसी भी प्रकरण को किसी भी परिस्थिति में न तो स्वीकार करेगा न ही ऐसे किसी कृत्य का समर्थन करेगा। प्रबंध न्यासी देवमृर्ति की ओर से जारी पत्र में कहा गया है कि ट्रस्ट शिक्षा, समाज सेवा और चिकित्सा सेवाओं के माध्यम से इस पूरे समाज से जुड़ा हुआ है। उन्होंने कहा कि उनके संज्ञान में आया है कि हमारे मंदिर के मुख्य पुजारी श्याम बिहारी चतुर्वेदी को ट्रस्ट के वाहन से बरेली से लखनऊ जाना था। वाहन पर जिस चालक को नियुक्त किया गया था, वह दूसरे धर्म का होने पर पुजारी को आपत्ति हुई। इस घटना से ट्रस्ट की मूल भावना आहत हुई है।
यह कार्रवाई एक तुष्टिकरण की लगती है: डॉ. हिमांशु
इस प्रकरण में चिकित्सक डॉ. हिमांशु अग्रवाल कहते हैं कि मुझे देवमूर्ति जी की यह कार्रवाई गलत लगती है, क्योंकि पुजारी का यह अधिकार है कि उनका वाहन चालक कौन है। पुजारी को निलंबित करने की यह कार्रवाई स्पष्ट रूप से एक तुष्टिकरण की लगती है।
