नए संसद भवन के उद्घाटन समारोह का बहिष्कार देश का अपमान है: भूपेंद्र पटेल

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Published By Moazzam Beg
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अहमदाबाद। गुजरात के मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल ने नए संसद भवन के उद्घाटन समारोह का बहिष्कार करने के 20 विपक्षी दलों के फैसले की निंदा करते हुए बृहस्पतिवार को कहा कि यह महान देश का अपमान है और देश के लोकतांत्रिक मूल्यों पर हमला है। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी रविवार को नए संसद भवन का उद्घाटन करेंगे। कांग्रेस सहित अन्य विपक्षी दलों ने मांग की है कि उद्घाटन प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी नहीं, बल्कि राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू करें। इस मामले पर पटेल ने कहा कि उद्घाटन समारोह का बहिष्कार करने का फैसला ‘अत्यंत निंदनीय’ है।

 उन्होंने एक समारोह के इतर खेड़ा जिले के नडियाद में संवाददाताओं से कहा, यह फैसला हमारे महान देश का ही अपमान नहीं है, बल्कि यह हमारे देश के लोकतांत्रिक मूल्यों और संवैधानिक आस्थाओं पर भी हमला है। पटेल ने कहा कि विपक्ष के बहिष्कार के आह्वान के बावजूद नए संसद भवन का 28 मई को उद्घाटन होगा। उन्होंने विपक्षी दलों की निंदा करते हुए कहा कि यह पहली बार नहीं है, जब उन्होंने महत्वपूर्ण संसदीय नियमों एवं समारोहों का उल्लंघन या बहिष्कार किया है। 

पटेल ने कहा, विपक्षी दलों ने अतीत में भी संसदीय परंपराओं एवं नियमों का उल्लंघन किया है। उन्होंने जीएसटी (वस्तु एवं सेवा कर) पर विशेष सत्र का बहिष्कार किया था। लोकतंत्र का अपमान करना विपक्षी दलों की आदत है। जब हमारी राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू को इस पद के लिए नामित किया गया था, तब विपक्षी दलों ने उनकी उम्मीदवारी के खिलाफ विरोध कर उनका अपमान किया था। मुख्यमंत्री ने कहा कि जब पूर्व राष्ट्रपति दिवंगत प्रणब मुखर्जी को भारत रत्न दिया गया था, तब विपक्षी दलों ने नाखुशी जताई थी। उन्होंने कहा, विपक्षी दलों की जन समर्थक योजनाओं को बाधित करने की आदत है। बहिष्कार का आह्वान कर उन्होंने अपनी गरिमा को कम किया है। लोग 140 करोड़ नागरिकों का यह अपमान कभी नहीं भूलेंगे।

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