रामनगर: देश में बाघों की संख्या के मामले में उत्तराखंड तीसरी पायदान पर

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Published By Shweta Kalakoti
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पहले में मध्यप्रदेश , दूसरे पर रहा कर्नाटक    

कार्बेट में भी बाघो की संख्या बढ़कर हुई 260  

रामनगर, अमृत विचार। विश्व बाघ दिवस पर जारी आकड़ो के हिसाब से बाघो की संख्या के मामले में उत्तराखंड राज्य तीसरे स्थान पर है जबकि मध्य प्रदेश पहले और कर्नाटक राज्य पहले स्थान पर है। अगर चार बाघ और होते तो उत्तराखण्ड राज्य दूसरी पायदान पर होता।

एनटीसीए द्वारा जारी किए गए आकड़ो के मुताबिक देश मे सर्वाधिक 785 बाघ मध्य प्रदेश में पाए गए है। 2018 में मध्य प्रदेश में बाघो की संख्या 526 थी जो अब बढ़कर 785 हो गयी है। कर्नाटक में 2022 में 563 बाघों की उपस्थिति दर्ज की गई।

उत्तराखण्ड राज्य में बाघों की संख्या 442 बयालीस थी जो अब बढ़कर कुल 560 पर पहुच चुकी है। यानी कि चार सालों में राज्य में 118 बाघो की संख्या में इजाफा हुआ है। उधर कार्बेट टाइगर रिजर्व में भी बाघों की संख्या में बढ़ोतरी दर्ज की गई है। 2018 में जहां कार्बेट में 231 बाघ थे वह अब बढ़कर 260 हो चुके है।

लगातार कार्बेट में बाघों की बढ़ती संख्या को देखते हुए निदेशक धीरज पांडे ने कहा कि इसका श्रेय सीटीआर के कर्मचारियों की बेहतर कार्यप्रणाली को दिया जा सकता है। वहीं   मुख्य वन्यजीव प्रतिपालक समीर सिन्हा ने राज्य में बाघों की बढ़ती तादात को सुखद बताते हुए कहा है कि बाघों की बढ़ती संख्या किसी चुनौती से कम भी नही है। उन्होंने कहा कि बाघों के संरक्षण और मानव वन्यजीव संघर्ष एक चुनौती जरूर है पर इस चुनौती का सामना करने के लिए भी हम तैयार है।

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