नाइजर सेना ने की मंत्रियों की नियुक्ति, वार्ता से किया इनकार... जानिए पूरा मामला

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Published By Priya
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नियामी (नाइजर)। नाइजर में दो सप्ताह पहले सत्ता हथियाने वाली सैन्य सरकार (जुंटा) ने मंत्रिमंडल में नए मंत्रियों की नियुक्ति की और अधिकतर अंतरराष्ट्रीय मध्यस्थों का देश में प्रवेश प्रतिबंधित कर दिया क्योंकि सेना खुद यहां सत्ता संभालने का काम कर रही है। सैन्य सरकार के नेताओं ने सोमवार को नए प्रधानमंत्री का नाम नामित किया, जिसे विश्लेषकों ने यह दिखाने के एक प्रयास के रूप में वर्णित किया कि वे (सेना) पश्चिम अफ्रीकी देश में सरकार चलाने को लेकर काफी गंभीर हैं।

 एसोसिएटेड प्रेस के पास मौजूद एक पत्र के मुताबिक, उन्होंने (सैन्य सरकार) संयुक्त राष्ट्र, अफ्रीकी संघ और पश्चिम अफ्रीकी क्षेत्रीय ब्लॉक पश्चिम अफ्रीका राज्य आर्थिक समुदाय (ईसीओडब्लयूएएस) द्वारा भेजे जाने वाले मध्यस्थता दलों के साथ बातचीत से इनकार कर दिया है, जिन्हें मंगलवार को यहां पहुंचना था। पत्र के मुताबिक, जुंटा ने सुरक्षा कारणों का हवाला देते हुए बातचीत से इनकार किया है। 

ईसीओडब्लयूएएस ने धमकी दी थी कि अगर सेना रविवार तक निर्वाचित राष्ट्रपति मोहम्मद बजौम को बहाल नहीं करती है तो वह सैन्य बल का प्रयोग करेगा, जिसे जुंटा ने नजरअंदाज किया और उसके खिलाफ आर्थिक समुदाय द्वारा कोई कार्रवाई नहीं की गई। सैन्य नेताओं ने अर्थशास्त्री अली महामन लैमिन जीन को प्रधानमंत्री चुना है। जीन पूर्व में अर्थव्यवस्था एवं वित्त मंत्री थे और 2010 में सेना के तख्तापलट के बाद उन्हें पद छोड़ना पड़ा था। जीन ने बाद में 'अफ्रीकन डेवलपमेंट बैंक' में भी काम किया था।

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