संभल: चौधरी चरण सिंह को भारत रत्न पर महिपाल सिंह की आंखों में छलके आंसू
गौरव वर्मा/संभल, अमृत विचार। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा पूर्व प्रधानमंत्री चौधरी चरण सिंह को भारत रत्न के ऐलान से संभल के गांव लखौरी निवासी संत महीपाल सिंह की आंखों में खुशी के आंसू छलक गये। संत महिपाल सिंह की चौधरी चरण सिंह से निकटता थी। वह कई आन्दोलनों में कंधे से कंधा मिलाकर चौधरी साहब के साथ रहे थे। महीपाल सिंह बोले, चौधरी साहब को भारत रत्न मिलना बड़े गर्व की बात है।
संत महीपाल सिंह ने वर्ष 2003 में 28 मई से 29 मई तक दिल्ली में किसान घाट पर 24 घंटे मौन रखकर खड़े रहकर पूर्व प्रधानमंत्री चौधरी चरण सिंह को श्रद्धांजलि देकर मजबूती से चौधरी चरध सिंह को भारत रत्न की मांग उठाई थी। तत्कालीन उप राष्ट्रपति को ज्ञापन देकर कहा था कि चौधरी चरण सिंह को भारत रत्न से सम्मानित कर करोड़ों किसानों का सम्मान किया जाए।

अब पूर्व प्रधानमंत्री चौधरी चरण सिंह को भारत रत्न दिए जाने से गर्व महसूस हो रहा है। संत महीपाल सिंह 1965 से ही चौधरी चरण सिंह के नजदीक रहे। चौधरी चरण सिंह के आहृवान पर महिपाल सिंह ने कई आन्दोलनों में सक्रिय भागीदारी की। 23 दिसंबर 1978 को वोट क्लब दिल्ली में आयोजित अखिल भारतीय किसान सम्मेलन में न सिर्फ हिस्सा लिया बल्कि सम्मेलन को सफल बनाने के लिए गांव गांव पोस्टर लगाकर किसानों से संपर्क भी साधा था।

सहेज रखी हैं वर्षों पुरानी यादें
संत महिपाल सिंह को पूर्व प्रधानमंत्री चौधरी चरण सिंह से इतना लगाव था कि उन्होंने वर्षों पुरानी उनकी यादों को आज तक सहेज कर रखा है। चौधरी चरण सिंह ने 4 अप्रैल 1967 को उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री पद की शपथ ली थी। शपथ से संबंधित खबर और फोटो वाला अखबार उनके पास है। वहीं 23 दिसम्बर 1978 को वोट क्लब दिल्ली में हुए किसान सम्मेलन का पोस्टर सहेज कर रखा है। बिधौती कला विधानसभा क्षेत्र से रामनरेश यादव का चुनाव भी महीपाल सिंह ने खूब लड़ाया था। चुनाव प्रचार से संबंधित सामग्री एवं कागजात उनके पास हैं।
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