गोंडा: 31.20 लाख रुपये कर्ज न चुका पाने से तनाव में था फूल कारोबारी, अर्जुन ने खुद ही रची अपने अपहरण की साजिश

Amrit Vichar Network
Published By Deepak Mishra
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करनैगंज/गोंडा, अमृत विचार। कोतवाली करनैलगंज क्षेत्र से अपहृत फूल व्यापारी अर्जुन कर्जे से परेशान था। उसने परिवार वालों के चोरी अपने आसपास के लोगों से 31.20 लाख रुपये का कर्ज ले रखा था जिसे वह चुका नहीं पा रहा था। इसको लेकर वह तनाव में था। इसी के चलते उसने खुद ही अपने अपहरण की साजिश रची थी। 36 घंटे की भागदौड़ के बाद पुलिस ने व्यापारी को हरिद्वार के हरि की पैड़ी से सकुशल बरामद कर लिया है। एसपी ने व्यापारी को बरामद करने वाली पुलिस टीम को 10 हजार रुपये का नकद पुरस्कार देने की घोषणा की है। 

करनैलगंज कोतवाली क्षेत्र के रहने वाला फूल व्यापारी अर्जुन राजपूत बृहस्पतिवार की शाम अचानक लापता हो गया था। कुछ देर बाद उसके परिजनों के पास एक फोन कॉल आई जिसमें अर्जुन के अपहरण की जानकारी देते हुए 70 लाख रुपये की फिरौती मांगी गयी थी। यह सुनकर परिजनों के होश उड़ गए थे। अज्ञात बदमाशों के खिलाफ केस दर्ज कर पुलिस की चार टीमें अर्जुन की तलाश में जुटी थी। पहले लखनऊ और फिर हरिद्वार में अर्जुन के मोबाइल की लोकेशन मिली थी‌।

भंभुआ पुलिस चौकी प्रभारी अंकित सिंह के नेतृत्व में एक पुलिस टीम हरिद्वार भेजी गयी थी। अर्जुन की तलाश को लिए पुलिस टीम को कांवड़ियों की वेषभूषा धारण करना पड़ा। कांवड़िया बनकर ही पुलिस ने अर्जुन को हरिद्वार से दबोच लिया। व्यापारी को बरामद करने वाली पुलिस टीम में उप निरीक्षक अंकित सिंह, जितेन्द्र कुमार, आलोक कुमार राय, आशीष कुमार, हेड कांस्टेबल दीपक मिश्रा, सुभाष यादव व एसओजी तथा सर्विलांस टीम के सिपाही शामिल रहे। 

एसपी ने बताई नाटकीय अपहरण कांड की कहानी 

अमृत विचार: एसपी विनीत जायसवाल ने शनिवार को इस घटना का खुलासा करते हुए इस नाटकीय अपहरण कांड की कहानी बतायी। एसपी ने कहा कि करनैलगंज कोतवाली क्षेत्र के धौरहरा गांव के रहने वाला अर्जुन राजपूत फूल की खेती और व्यापार करता है, लेकिन व्यापार में उसे घाटा हो गया था। इस घाटे को पूरा करने के लिए उसने अपने आसपास के लोगों से 31.20 लाख रुपये उधार ले रखे थे। उधार लिए गए रुपयों को वह चुका नहीं पा रहा था इसलिए तनाव में था।

इस कर्जे की भरपायी के लिए उसने अपने अपहरण की साजिश रची और परिवार वालों से 70 लाख रुपये की फिरौती मांगी। एसपी ने बताया कि परिवार के लोग खेत बेंचकर पैसे देने को तैयार थे लेकिन पुलिस ने उन्हे न सिर्फ भरोसे में रखा बल्कि अर्जुन की तलाश भी जारी रखी‌। करीब 36 घंटे की मेहनत के बाद भंभुआ पुलिस चौकी इंचार्ज अंकित सिंह की टीम ने व्यापारी अर्जुन को हरिद्वार की हरि की पौड़ी से सकुशल बरामद कर लिया। पुलिस अधीक्षक ने व्यापारी को बरामद करने वाली पुलिस टीम को 10 हजार रुपये का नकद पुरस्कार देने की घोषणा की है।

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