मुरादाबाद : आज दिखेगा चांद, रविवार को होगा पहला रोजा...तैयारियां पूरी
शनिवार से शुरू हो जाएगी तरावीह की नमाज, महानगर से लेकर देहात क्षेत्रों में तैयारियां पूरी
मुरादाबाद, अमृत विचार। रमजान उल मुबारक का महीना रविवार से शुरू होने जा रहा है। जिसको लेकर महानगर और देहात के इलाकों में तैयारियां पूरी हो गई हैं। शहर इमाम ने मुसलमानों से ज्यादा से ज्यादा इबादत करने की अपील की है। मुस्लिम समाज में सबसे मुकद्दस महीना रमजान 2 मार्च से शुरू होगा। महानगर से लेकर देहात क्षेत्र में तैयारियां मुकम्मल हो गई हैं। रमजान का महीना शुरू होने से महानगर तहसील स्कूल, चौकी हसन खां, लाल मस्जिद, कोहना मुगलपुरा, गलशहीद, सीधी सराय, जामा मस्जिद, चक्कर की मिलक, असालतपुरा, ईदगाह, करुला, मकबरा, गलशहीद, इंदिरा चौक और ताजपुर इलाके में रमजान की रौनक दिखने लगी।
महानगर की सभी मस्जिदें तरावीह के लिए तैयार हो गई हैं। शहर इमाम सैयद मासूम अली आजाद ने बताया कि शनिवार को रमजान का चांद देखा जायेगा। आप सभी लोग चांद देखने का अहतमाम करें। चांद दिखने पर शनिवार को पहली तरावीह व रविवार को पहला रोजा शुरू हो जाएगा। वहीं नायब शहर इमाम मुफ्ती फहद अली ने कहा कि रहमत और बरकत वाला महीना रमजान में सभी मुसलमान ज्यादा से ज्यादा इबादत करें और अल्लाह से अपने गुनाहों की माफी मांगे।
गुनाहों से तौबा करने का महीना है रमजान
रमजान का पाक महीना गुनाहों से तौबा करने का महीना है। रमजान के महीने में रोजे के समय लोग अपने खाने पीने की आदतों को नियंत्रण में रखने का प्रयास करते हैं। रमजान में दिन-रात इबादत करना अफजल माना जाना है। रमजान के दौरान लोगों को अधिक से अधिक दान पुण्य करने और दूसरों की मदद करने के लिए प्रेरित किया जाता है। मान्यता है कि इस पाक महीने में अल्लाह जन्नत के दरवाजे खोलता है और शैतानों को कैद कर लेता है।
सहरी में खजला व खजूर से खोला जाता है रोजा
मुसलमानों के लिए सबसे महत्वपूर्ण और पवित्र महीना रमजान हैं। रमजान के पूरे महीने के दौरान मुसलमान रोजा रखते हैं। सुबह सूर्योदय से पहले के भोजन को सहरी कहा जाता है। सहरी में खजला- फैनी व अन्य पकवान भी खाये जाते हैं। जबकि रोजा के अंत के समय यानी शाम को खाए जाने वाले भोजन को इफ्तार कहते हैं। इफ्तार पारंपरिक रूप से खजूर खाने और पानी पीने से शुरू होता है। इसके अलावा इफ्तार के समय स्वादिष्ट भोजन खाए जाते हैं। रोजा रखने वाले लोग पांच वक्त की नमाज भी अदा करते हैं।
14 साल के हाफिज मोईन सुनाएंगे कुरान
रविवार को रमजान का पहला रोजा होगा। जबकि शनिवार से तरावीह की नमाज शुरू हो जाएगाी। तरावीह की नमाज में हाफिज द्वारा कुरान सुनाया जाता है। वहीं महानगर के तंबाकू वालान के रहने वाले मोहम्मद आजम के 14 वर्षीय बेटे हाफिज मोहम्मद मोईन इस बार पहली बार नमाज ए तरावीह में कुरान सुनाएंगे। वह नमाज-ए-तरावीह में रोजाना दो पारे सुनाएंगे।
शहर की मुख्य मस्जिदों में पारे
शनिवार से मस्जिदों में तरावीह शुरू हो जाएगी। मस्जिद इस्हाक मियां व तख्त वाली मस्जिद में 5-5 पारे सुनाए जाएंगे। जबकि जामा मस्जिद व शाही मस्जिद में 1-1, जामिल हुदा व लाल मस्जिद में 3-3, मस्जिद गौसे आजम, शाह बुलाकी व जियां खां वाली मस्जिद में 2- 2 तथा मौलाना वाली मस्जिद में डेढ़ पारे सुनाए जाएंगे।
ये भी पढे़ं : मुरादाबाद : 10 साल के बच्चे के साथ कुकर्म, दो किशोर गए संप्रेक्षण गृह
