ज्यादा मोबाइल देखने से सूख रहीं आंखें...कम उम्र में बच्चे ड्राई आई सिंड्रोम का शिकार
मुरादाबाद, अमृत विचार। मोबाइल का दुष्प्रभाव बच्चों की आंखों में दिखाई देने लगा है। अधिक मोबाइल देखने वाले बच्चों से लेकर युवा वर्ग के लोग ड्राई आई सिंड्रोम की बीमारी से ग्रसित हो रहे हैं। पहले यह बीमारी कभी कभार सिर्फ बुजुर्गों को होती थी, लेकिन अब लगातार मोबाइल के संपर्क में रहने के दुष्प्रभाव के कारण बच्चों में भी देखने को मिल रही है।
जिला अस्पताल की नेत्र रोग ओपीडी में प्रतिदिन औसतन 30-35 नेत्र रोगी पहुंच रहे हैं। इनमें 15 से 20 रोगी ड्राई आई सिंड्रोम के मिल रहे हैं। इन दिनों इस बीमारी के रोगियों की संख्या दिन प्रतिदिन बढ़ भी रही है। इनमें बड़ी संख्या में छोटे बच्चे और छात्र-छात्राएं शामिल हैं। नेत्र रोग विशेषज्ञ डॉ. मोनिका सैन ने बताया कि बिना पलक झपके काफी देर तक किसी वस्तु या अन्य को देखने से ड्राई आई सिंड्रोम की बीमारी पैदा होती है।
अक्सर देखा जाता है कि बच्चे मोबाइल देर तक देखते रहते हैं। इससे इस बीमारी का जन्म होता है। इस बीमारी में आंखों में चिकनाई (आंसू) की मात्रा घट जाती है, जिससे आंखें हर समय थकी-थकी दिखती हैं। सिर भी भारी रहता है। ऐसी शिकायत होने पर बार-बार आंखों की पलकें झपकाते रहें, इससे राहत मिलेगी। अधिक दिक्कत होने पर नेत्र विशेषज्ञ से परामर्श लें। बिना चिकित्सक परामर्श के कोई आई ड्रॉप या दवा का सेवन न करें।
