लखनऊ: विनय पाठक से जुड़े एकेटीयू के दस्तावेजों का एसटीएफ ने शुरू किया परीक्षण

प्रोफेसर विनय पाठक ने 25 नवंबर तक पेश होने की मोहलत मांगी थी

लखनऊ: विनय पाठक से जुड़े एकेटीयू के दस्तावेजों का एसटीएफ ने शुरू किया परीक्षण

लखनऊ, अमृत विचार। डॉ एपीजे अब्दुल कलाम प्राविधिक विश्वविद्यालय के तत्कालीन और छत्रपति शाहूजी महाराज विश्वविद्यालय के वर्तमान कुलपति प्रोफेसर विनय पाठक से जुड़े एकेटीयू के दस्तावेजों का परीक्षण एसटीएफ ने शुक्रवार को शुरू कर दिया है। ऐसे में अब यह तय माना जा रहा है कि प्रोफेसर पाठक की मुश्किलें और बढ़ेंगी। 

वहीं दूसरी ओर प्रोफेसर विनय पाठक के बारे में एसटीएफ  के अधिकारियों ने बातचीत में अमृत विचार को बताया कि प्रोफेसर विनय पाठक ने 25 नवंबर तक पेश होने की मोहलत मांगी थी लेकिन अभी तक उनकी कोई सूचना नहीं है। इस बारे में कोई जानकारी भी नहीं मिली है कि वह अभी मौजूदा समय में कहां है। 

बता दें कि डॉ एपीजे अब्दुल कलाम प्राविधिक विश्वविद्यालय में प्रोफेसर विनय पाठक दो बार कुलपति रहे हैं, उनके कार्यकाल में यूनिवर्सिटी से जुड़े कई महत्वपूर्ण कार्य भी हुए हैं, जिनमें कई प्रकार की गड़बड़ी की भी शिकायतें हैं अब जब एसटीएफ ने एकेटीयू के दस्तावेजों का परीक्षण शुरू किया है, तो इसमें भी पाठक की गर्दन फंस सकती है। मौजूदा समय में प्रोफेसर विनय पाठक कमीशन खोरी के आरोप में फंसे है। एकेटीयू से जुड़े जो दस्तावेज एसटीएफ को मिले हैं उन्हें खुद एकेटीयू के वर्तमान कुलपति प्रोफेसर प्रदीप मिश्रा ने गुरुवार की शाम को सौंपा है। बता दें कि  विनय कुमार पाठक के खिलाफ सबसे पहले बिल पास करने के नाम पर कमीशन की रकम वसूलने के आरोप में एफआईआर दर्ज हुई थी।

लखनऊ के इंदिरा नगर थाने में पाठक के खिलाफ 15 पर्सेंट कमीशन लेने जैसी शिकायतों पर केस दर्ज हुआ है। जिसके बाद पूरे मामले की जांच एसटीएफ को सौंपी गई थी। इस मामले में प्रोफेसर विनय पाठक कभी कोर्ट का सहारा लेकर तो कभी पत्र का सहारा लेकर गिरफ्तारी से बचने का प्रयास कर रहे हैं।